नई दिल्ली (New Delhi)। गूगल (Google) पर हाल ही में 5 बिलियन डॉलर का जुर्माना (Fine of 5 billion dollars) लगा है। गूगल पर यह जुर्माना क्रोम ब्राउजर के इन्कॉग्निटो मोड (Incognito mode of Chrome browser) में यूजर्स की ट्रैकिंग (Tracking of users) को लेकर लगा है। इन्कॉग्निटो मोड में यूजर इसलिए इंटरनेट सर्फिंग करता है, ताकि उसकी ट्रैकिंग ना हो और जिस वेबसाइट पर वह विजिट करता है वहां उसकी कूकीज स्टोर ना हो लेकिन गूगल ने यूजर्स को धोखा दिया।
MSPowerUser की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि गूगल ने फाइन देने के बाद अपनी पॉलिसी में बदलाव किया है। अब यदि इन्कॉग्निटो मोड में किसी यूजर्स की ट्रैकिंग होती है तो गूगल उन सभी यूजर्स को अलर्ट जारी करेगा। फिलहाल इस फीचर की टेस्टिंग हो रही है।
गूगल ने बीटा टेस्टर को डिस्क्लेमर अपडेट किया है जिसमें लिखा है अब आप निजी तौर पर ब्राउजिंग कर सकते हैं और दूसरे लोग आपकी एक्टिविटी नहीं देख सकेंगे, हालांकि डाउनलोड्स, बुकमार्क और रिडींग लिस्ट सेव होंगी।
फाइन लगने से पहले वाले डिस्क्लेमर में लिखा था कि कुछ वेबसाइट आपकी ट्रैकिंग कर सकती हैं। इन्कॉग्निटो मोड में यूजर्स की ट्रैकिंग को लेकर गूगल पर 2020 में मुकदमा हुआ था जिस पर आखिरी फैसला फरवरी 2024 में आने वाला है।
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