इंदौर। कांग्रेस सरकार में केन्द्रीय मंत्री रहे स्व. माधवराव सिंधिया की जयंती (Madhavrao Scindia’s birth anniversary) से इस बार भी कांग्रेसियों ने किनारा किया। कांग्रेसी माल्यार्पण करने नहीं पहुंचे, लेकिन भाजपा के बड़े नेता और कार्यकर्ताओं ने बंगाली चौराहा स्थित उनकी प्रतिमा पर पहुंचकर माल्यार्पण किया।
ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) के भाजपा में आने के बाद से ही कांग्रेसी माधवराव सिंधिया को भूल गए, जबकि माधवराव कांग्रेस सरकार में कई बार सांसद और मंत्री भी रहे हैं और कांगे्रस के कद्दावर नेताओं में गिने जाते थे। कोरोना काल में भी उनकी जयंती और पुण्य स्मरण दिवस पर कांग्रेस ने न तो कोई आयोजन रखा और न ही उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण करने पहुंचे। आज स्व. सिंधिया की जयंती है।
मंत्री तुलसी सिलावट विधानसभा में रहने के कारण उपस्थित नहीं हो सके तो भाजपा के सांसद शंकर लालवानी, वरिष्ठ नेता कृष्णमुरारी मोघे, नगर अध्यक्ष गौरव रणदिवे, आईडीए अध्यक्ष जयपालसिंह चावड़ा, प्रदेश प्रवक्ता उमेश शर्मा, भाजपा नेता मधु वर्मा, सुदर्शन गुप्ता, सूरज कैरो, अजयसिंह नरूका, राजेश पांडे, पप्पू शर्मा, नानूराम कुमावत, रितेश तिवारी, कमल बाघेला, घनश्याम शेर, प्रमोद टंडन सहित कई भाजपाई मौजूद थे। सभी ने सिंधिया के जीवन और उनके द्वारा दिए गए योगदान को याद किया। इस मौके पर मोघे ने भाजपाइयों से कहा कि वे विश्वसनीयता पर खरे उतरते थे। उनको देखकर नहीं लगता था कि वे विदेश से पढक़र आए थे। वे यहां घुलमिल गए थे। रणदिवे ने भी कहा कि उन्होंने विकास के लिए काम किया और कार्यकर्ताओं से निरंतर संवाद रखते थे। आज भी ऐसे कई कार्यकर्ता हैं, जो उनके पदचिन्हों पर काम कर रहे हैं।
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