– मानपुर में लूट और हत्या के मामले में बंद थे, जेल गेट पर मुख्य प्रहरी पर हमला
इदौर। समीपस्थ देपालपुर के अंतर्गत उपजेल में आज सुबह चार कैदियों ने महिला वार्ड की दीवार फांदकर भागने का प्रयास किया, लेकिन जेलकर्मियों ने उन्हें अंदर ही दबोच लिया और वह भागने में सफल नहीं हो पाए। इसके पहले इन कैदियों ने जेल के मुख्य प्रहरी पर गेट पर ही हमला कर दिया था। इस मामले में लापरवाही बरतने वाले जेलकर्मियों पर कार्रवाई की जा रही है। जिन कैदियों को पकड़ा है, वे हत्या और लूट के मामले में जेल में बंद है और हाल ही में महू जेल से स्थानांतरित होकर आए है।
जेल सूत्रों ने बताया कि घटना आज सुबह 7 बजे की है, जब मानपुर में हुई डकैती और हत्या के मामले में शामिल विकास पिता संतोष, संजय पिता रामप्रसाद, देबु उर्फ देवकरण पिता गुनिया, विनोद पिता नानूराम शामिल है। राशन लेकर गेट के पास से गुजर रहे थे कि अचानक उन्होंने गेट पर तैनात मुख्य प्रहरी विकास शर्मा पर अचानक हमला कर दिया और पास की एक महिला वार्ड की दीवार फांदकर भागने की कोशिश की, लेकिन जवानों ने उन्हें दौडक़र पकड़ लिया। जेलर रामसहायक कुशवाह ने बताया कि सभी कैदियों के विरुद्ध जेल अधिनियम के तहत कार्रवाई की जा रही है। उन्होंने बताया कि जिन कैदियों ने भागने की कोशिश की है, उन्हें अलग वार्ड में रखा गया है। यह सभी बड़े खूंखार कैदी हैं। जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। मौके पर जेल अधीक्षक सेंट्रल जेल राकेश भांगरे भी पहुंच गए थे, जिन्होंने घटना के संबंध में जानकारी प्राप्त की।
लंबे समय से खाली पड़ी है हवलदार के चार पद
उपजेल देपालपुर में लंबे समय से हवलदार के चार पद रिक्त पड़े हैं। तीन हवलदार और मुख्य प्रहरी के पद भी खाली हैं, जिन्हें लंबे समय बाद भी नहीं भरा गया है। हवलदारों और प्रहरियों के पद रिक्त होने के कारण जेल की सुरक्षा व्यवस्था पर भी खतरा मंडराने लगा है। एक हवलदार मेहरचंद बघेल रिटायर हो गया है। अब हवलदार नहीं के बराबर है। हालांकि जेल मुख्यालय से लेकर सर्कल जेल के अधिकारियों को भी इसके बारे में जानकारी है, लेकिन उन्होंने भी अभी इस दिशा में ध्यान नहीं दिया है। जेल की दीवार फांदकर भाग रहे कैदी को पकड़ लिया गया, वरना यह पुलिस के हाथ भी नहीं आते।
उपजेलों में कैदियों को भेजे जाने से बिगड़ी व्यवस्था
जेल सूत्रों ने बताया कि हाल ही में जेल मुख्यालय के आदेश के बाद जिला जेल और सर्कल जेलों में क्षमता से अधिक रखे जा रहे कैदियों को आसपास की उपजेलों में स्थानांतरित किया जा रहा है। कुछ दिनों पूर्व जिला जेल से देपालपुर जेल में 25 कैदियों को स्थानांतरित किया गया था, इसके अलावा सौ कैदियो को शाजापुर व 25 कैदियों को सांवेर जेल में भेजा गया था, जबकि पहले ही क्षमता से अधिक कैदी रखे जा रहे हैं। यहां सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी नहीं किया जा रहा है। जेल सूत्रों का कहना है कि कैदियों का स्थानांतरण करने से ही पूरी व्यवस्था बिगड़ गई है।
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