वाशिंगटन। अमेरिका के पूर्व एनएसए जॉन बोल्टन (Former US NSA John Bolton) ने कहा है कि अफगानिस्तान(Afghanistan) में तालिबान (Taliban) की वापसी के लिए केवल पाकिस्तान (Pakistan) ही पूरी तरह से जिम्मेदार है। उन्होंने ये बयान एक इंटरव्यू के दौरान दिया। उन्होंने ये भी कहा कि पाकिस्तान की इंटेलीजेंस एजेंसी (Pakistan’s Intelligence Agency) और उनका इंटरनल सर्किल (inner circle) दशकों से तालिबान के संपर्क में है।
बोल्टन ने ये भी कहा कि जब से अमेरिका ने अफगानिस्तान से वापस जाने की बात की है और इसकी शुरुआत की है तब से तालिबान लगातार देश में अपने पांव फैला रहा है। कई जिलों को वो अपने कब्जे में कर चुका है। बोल्टन ने तालिबान को एक सुरक्षित जगह मुहैया करवाने पर पाकिस्तान की खिंचाई भी की है। उन्होंने यहां तक कहा तक कहा कि पाकिस्तान अमेरिका ही नहीं अफगानिस्तान फोर्स के खिलाफ भी काम करने में व्यस्त है। अफगान फोर्स के ऊपर हमला कराने में भी उसकी भूमिका है।
बोल्टन ने पाकिस्तान को आगाह किया है कि यदि अफगानिस्तान में तालिबान ने सत्ता हथिया ली तो वो पाकिस्तान के लिए भी एक बड़ा खतरा बन जाएगा। ऐसी सूरत में पाकिस्तान की सरकार पर आंतकी संगठनों की संख्या बढ़ाने का जबरदस्त दबाव होगा। बोल्टन ने साफ कहा कि वो भविष्य को लेकर काफी चिंतित हैं। अमेरिका के पूर्व एनएसए का ये बयन ऐसे समय में आया है जब अमेरिका के अफगानिस्तान से बाहर निकलने की समय सीमा लगातार कम हो रही है। बता दें कि जब से अमेरिका ने इसकी घोषणा की है तब से तालिबान लगातार अफगानिस्तान में अपने पांव फैलाने में लगा हुआ है। पिछले दिनों अफगानिस्तान में संयुक्त राष्ट्र की विशेष दूत डेबरा ल्योन्स ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद को चेतावनी दी थी कि यदि तालिबान को नहीं रोका गया तो वो अफगनिस्तान के अधिकांश हिस्सों पर पहले की ही तरह कब्जा जमा लेगा। उनके मुताबिक मई से लेकर अब तक तालिबान ने हमला कर करीब 50 से अधिक जिलों को अपने कब्जे में ले लिया है। कुछ दिन पहले ही तालिबान ने अपने एक बयान में साफ किया था कि वो अफगानिस्तान में इस्लामी कानून लगाना चाहते हैं। उनके मुताबिक वो महिलाओं को भी इसी कानून के आधार पर अधिकार देंगे। उनके इस बयान ने उन महिलाओं की चिंता को बढ़ा दिया है जो तालिबानी हुकूमत के खात्मे के बाद खुली हवा में सांस लेने लगी हैं।