नई दिल्ली (New Delhi)। वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) परिषद (Goods and Services Tax (GST) Council) ने लेबल वाले मोटे अनाज (Labeled coarse grains) के पैक आटे (श्रीअन्न) पर 5 फीसदी जीएसटी (5 percent GST) और मोलेसेज (गुड़/शीरा/खांड़/राब) पर जीएसटी की मौजूदा दर को 28 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी करने का फैसला किया है।
निर्मला सीतारमण ने शनिवार को जीएसटी परिषद की 52वीं बैठक के बाद प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए यह बात कही। उन्होंने बताया कि मोलेसेज पर जीएसटी की दर को 28 फीसदी से घटाकर पांच फीसदी करने का फैसला किया गया है। उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद है कि इससे गन्ना किसानों को फायदा होगा और उनका बकाया तेजी से चुकाया जा सकेगा। इससे पशु आहार के निर्माण की लागत में भी कमी आएगी।
वित्त मंत्री ने कहा कि बैठक में लेबल वाले मोटे अनाज (श्रीअन्न) के आटे पर पांच फीसदी जीएसटी लगाने का फैसला लिया गया है। हालांकि, ऐसा आटा जिसमें मिलेट्स की मात्रा 70 फीसदी या उससे अधिक हो और उसे खुले में बेचा जाता है तो उस पर शून्य फीसदी जीएसटी का प्रावधान किया गया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि आटे को पैक करके उस पर लेबल लगाकर बेचने पर जीएसटी लागू होगा।
उन्होंने बताया कि परिषद ने शीरा पर जीएसटी की दर को घटाकर पांच फीसदी करने और मानव उपभोग के लिए बनी शराब को लेवी से छूट देने का भी फैसला किया है। निर्मला सीतारमण ने कहा कि जीएसटी परिषद ने शीरे पर जीएसटी दर 28 फीसदी से घटाकर पांच फीसदी कर दिया है। उन्होंने बताया कि बैठक में मानव उपभोग के लिए अल्कोहल पर कर लगाने का अधिकार राज्यों को सौंप दिया है। ऐसे में मानव उपभोग वाले अतिरिक्त तटस्थ अल्कोहल (ईएनए) को जीएसटी से छूट दी जाएगी, जबकि औद्योगिक प्रयोग के लिए इस्तेमाल होने वाले ईएनए पर 18 फीसदी दर से जीएसटी लगाया जाएगा।
वित्त मंत्री ने कहा कि कॉरपोरेट जगत द्वारा अपनी सहायक कंपनियों को दी गई गारंटी पर 18 फीसदी जीएसटी लगेगा। हालांकि, निदेशक के कंपनी को व्यक्तिगत गारंटी देने पर कोई कर नहीं लगेगा। राजस्व सचिव संजय मल्होत्रा ने स्पष्ट कि जब कोई निदेशक किसी कंपनी को कॉरपोरेट गारंटी देगा, तो सेवा का मूल्य शून्य माना जाएगा। इसलिए उस पर कोई जीएसटी लागू नहीं होगा। लेकिन, जब कोई कंपनी अपनी सहायक इकाई को कॉरपोरेट गारंटी देगी, तो यह माना जाएगा कि सेवा का मूल्य कॉरपोरेट गारंटी का एक फीसदी है, इसलिए कुल राशि के एक फीसदी पर 18 फीसदी जीएसटी लगेगा।
निर्मला सीतारमण ने बताया कि 52वीं जीएसटी परिषद की बैठक में जीएसटी अपीलीय न्यायाधिकरण (जीएसटीएटी) के अध्यक्ष और सदस्यों की अधिकतम आयु सीमा तय करने का भी निर्णय लिया गया है। इसके तहत जीएसटीएटी अध्यक्ष की अधिकतम आयु 70 वर्ष और सदस्यों की अधिकतम आयु 67 वर्ष होगी। इससे पहले यह सीमा क्रमश: 67 वर्ष और 65 वर्ष थी। इस बैठक में केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी के अलावा राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के वित्त मंत्री और केंद्र सरकार तथा राज्यों के वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे।
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