इन्दौर। नगर निगम द्वारा स्वच्छता सर्वेक्षण को लेकर शहर की दीवारों के साथ साथ ब्रिज के बोगदो और चौराहों को संवारने का काम शुरू किया गया है और यह काम अब लगभग अंतिम दौर में हैं, लेकिन लोगों ने इसे बदहाल करना भी शुरू कर दिया है। माणिकबाग ब्रिज के नीचे रंगी पुती दीवारों पर होर्डिंग पोस्टर टांगने के मामले में निगम की ओर से डाक्टर के विरुद्ध थाना जूनी इंदौर में सम्पत्ति विरुपण का मुकदमा भी दर्ज कराया गया वहीं कार सिखाने वाली फर्म के खिलाफ स्पाट फाइन किया गया। स्वच्छता सर्वेक्षण के चलते नदी नालों को संवारने के साथ साथ शहर को खूबसूरत बनाने की हर कोशिश जारी है और इसके तहत कई स्थानों पर मांडने से लेकर बेहतरीन पेन्टिंग्स कर दीवारों को संवारा जा रहा है। अब तक शहर के सभी हिस्सों में यह कार्य पूरा हो चुका है और कई जगह जारी है। शहर में गंदगी फैलाने वालों के खिलाफ स्पाट फाइन कर उन्हें भी चेताया जा रहा है। निगम कमिश्नर प्रतिभा पाल के निर्देश पर निगम की टीमों ने कल माणिकबाग ब्रिज के नीचे बोगदो की दीवारों के आसपास होर्डिंग और पोस्टर टांगने के मामले में कार्रवाई शुरू की। अधिकारियों के मुताबिक वहां कुछ दिन पहले ही दीवारों पर आकर्षक पेंटिंग्स की गई थी, लेकिन वहां लोगों ने विज्ञापन बोर्ड लगाना शुरू कर दिये थे और जिसकी अनुमति भी निगम से नहीं ली गई। कल वहां लगे विज्ञापन बोर्ड के मामले में डाक्टर एम. हबलानी क्लीनिक माणिकबाग के मालिक और कार सिखाने वाली एक फर्म के विरुद्ध तीन हजार और दो हजार के स्पाट फाइन किए गए, वहीं डाक्टर पर प्रकरण दर्ज कराया गया। निगम की पीली जीपों से विभिन्न वार्डों में मुनादी भी की जा रही है कि बिना अनुमति अवैध रूप से वभिन्न स्थानों पर होर्डिंग पोस्टर, बैनर लगाने पर निगम कार्रवाई करेगा।
विज्ञापन लगाकर फंसा डाक्टर : नगर निगम के अधिकारियों ने जूनी इंदौर थाने पर निगम अधिकारियों की और से सम्पत्ति विरुपण अधिनियम के तहत प्रकरण भी दर्ज कराया गया है। जिसमें कहा गया है कि डाक्टर द्वारा इलाज करने संबंधी विज्ञापन बैनर लगाकर दीवारों को खराब किया गया। इस पर जूनी इंदौर पुिलस ने अपराध धारा 3 मध्यप्रदेश सम्पत्ति विरुपण अधिनियम 1994 का अपराधिक कृत्य पाते हुए मामला दर्ज किया है। यह रिपोर्ट निगम के सुपरवाइजर सन्नी पांडे की और से दर्ज कराई गई।
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