नई दिल्ली । पाकिस्तान (Pakistan) के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (Prime Minister Shahbaz Sharif) इन दिनों आर्थिक और सियासी, दोनों ही मोर्चों पर मुश्किलों का सामना कर रहे हैं। उनकी मुश्किलों में पाकिस्तान की संघीय जांच एजेंसी (FIA) ने और इजाफा कर दिया है। FIA ने अरबों रुपये के मनी लॉन्ड्रिंग केस में शनिवार को कोर्ट से आगे की जांच के लिए प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और उनके बेटे एवं पंजाब के मुख्यमंत्री हमजा शहबाज (Hamza Shahbaz) की गिरफ्तारी का अनुरोध किया है। कोर्ट ने हालांकि शहबाज और हमजा की अग्रिम जमानत 11 जून तक बढ़ा दी है।
स्पेशल कोर्ट में पेश हुए शहबाज और हमजा
FIA ने प्रधानमंत्री और बाकी के संदिग्धों के खिलाफ 1400 करोड़ रुपये के मनी लॉन्ड्रिंग केस में अंतरिम जांच रिपोर्ट भी दायर की। शहबाज और हमजा कड़ी सुरक्षा के बीच स्पेशल कोर्ट में पेश हुए। कोर्ट के एक अधिकारी ने कहा, ‘FIA के एक अभियोजक ने अदालत में एक अंतरिम जांच रिपोर्ट प्रस्तुत की और प्रमुख संदिग्धों, प्रधानमंत्री शहबाज तथा पंजाब के मुख्यमंत्री हमजा की गिरफ्तारी की मांग की। उन्होंने यह तर्क दिया कि मामले में आगे की जांच के लिए उनकी हिरासत जरूरी है क्योंकि वे जांच में शामिल नहीं हुए हैं और उन्होंने इन्वेस्टिगेटर्स के साथ को-ऑपरेट नहीं किया है।’
शहबाज के वकील ने FIA के दावे को बताया झूठा
शहबाज शरीफ के वकील अमजद परवेज ने FIA की याचिका पर कड़ी आपत्ति जताई और इसे ‘एजेंसी का झूठा दावा’ करार दिया। अहमद परवेज ने कहा कि FIA शहबाज और हमजा के रोल की तब पहले ही जांच कर चुकी है जब वे लाहौर की जेल में थे। परवेज ने कहा कि उनके मुवक्किल जेल में रहने के दौरान भी जांच में शामिल हुए और वे FIA के दफ्तर में इन्वेस्टिगेटर्स के सामने पेश भी हुए थे। जज एजाज अवान ने मामले में पीएम के दूसरे बेटे सुलेमान शहबाज के खिलाफ गिरफ्तारी वॉरन्ट फिर से जारी किया और सुनवाई 11 जून तक के लिए स्थगित कर दी।
2019 से ही फरार है शहबाज का दूसरा बेटा सुलेमान
बता दें कि शहबाज शरीफ का दूसरा बेटा सुलेमान 2019 से फरार है और अभी वह ब्रिटेन में रह रहा है। पिछले दिनों पाकिस्तान की सत्ता से हाथ धोने वाले पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने इस हफ्ते अंकारा में तुर्की के राष्ट्रपति से मिलने वाले शहबाज के प्रतिनिधिमंडल में सुलेमान की मौजूदगी पर सवाल उठाया था। शहबाज और उनके बेटों, हमजा तथा सुलेमान के खिलाफ FIA ने नवंबर 2020 में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम एवं धनशोधन अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया था।
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