नई दिल्ली: हरियाणा के करनाल शहर में शनिवार को बीजेपी की मीटिंग का विरोध करने जा रहे किसानों और पुलिस में जमकर झड़प हुई. इस दौरान पुलिस (Police) ने किसान प्रदर्शनकारियों (Farmers Protestors) पर लाठीचार्ज भी किया. पुलिस के मुताबिक, इस झड़प में 4 प्रदर्शनकारियों को चोट आई और 10 जवान घायल हुए हैं. घटना के बाद संयुक्त किसान मोर्चा ने सड़कें जाम करने का आह्वान किया है, साथ ही किसानों को मारने का आदेश देने वाले एसडीएम को बर्खास्त करने की मांग की है.
प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज करनाल (Karnal) से 15 किलोमीटर पहले बस्तर टोल प्लाजा पर हुआ था. केंद्र के तीन कृषि कानूनों (Farm Laws) का 9 महीने से विरोध कर रहे किसान शनिवार को करनाल में बीजेपी-जेजेपी गठबंधन की मीटिंग का विरोध कर रहे थे. इस मीटिंग में मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर (Manohar Lal Khattar), बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष ओम प्रकाश धनखड़ (Om Prakash Dhankar) और पार्टी के कई सीनियर नेता मौजूद थे.
पुलिस का कहना है कि इलाके में धारा-144 लागू थी, जिसका प्रदर्शनकारियों ने उल्लंघन किया. पुलिस ने कहा कि प्रदर्शनकारियों को वहां से जाने की हिदायत भी दी गई थी, लेकिन वो डटे रहे और कुछ देर बाद पत्थरबाजी करने लगे. भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा. वहीं, किसान नेताओं का कहना है कि पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे किसानों को बुरी तरह से लाठी से पीटा, जिसमें कई लोग घायल हुए हैं. पुलिस ने कई प्रदर्शनकारियों को हिरासत में भी ले लिया था.
किसानों ने किया चक्का जाम
पुलिस की कार्रवाई के विरोध में संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसानों ने हाइवे और टोल प्लाजा समेत कई सड़कों पर शनिावर शाम 5 बजे तक जाम लगा दिया. किसानों ने फतेहाबाद-चंडीगढ़, गोहाना-पानीपत, जिंद-पटियाला, अंबाला-कुरुक्षेत्र, हिसार-चंडीगढ़, कालका-जीराकपुर और करनाल से सटे दिल्ली हाइवे को घंटों तक जाम कर दिया. हरियाणा भारतीय किसान यूनियन (चढ़ूनी) के अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने दावा किया कि पुलिस ने किसानों की बेरहमी से पिटाई की, जिसमें कई लोग घायल हुए हैं.
SDM को बर्खास्त करने की मांग
संयुक्त किसान मोर्चा ने शनिवार को बयान जारी करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री खट्टर के विधानसभा क्षेत्र करनाल में प्रदर्शन कर रहे किसानों पर पुलिस की बर्बरता की कड़ी निंदा करते हैं. किसान मोर्चा कैमरे पर पुलिस को आदेश देने वाले एसडीएम आयुश सिंहा को तत्काल बर्खास्त करने की मांग करता है. SKM ने खट्टर-चौटाला सरकार को चेतावनी दी है कि किसान पीछे नहीं हटेंगे और वर्तमान ऐतिहासिक आंदोलन को जनविरोधी सरकार के इस बर्बर कृत्यों से दबाया नहीं जा सकता है. आने वाले दिनों में संघर्ष और तेज होगा.एसकेएम ने हरियाणा के लोगों से हर जगह सड़क जाम करने का आह्वान किया है.
पुलिस ने क्या कहा?
हरियाणा के एडीजीपी नवदीप सिंह विर्क ने बताया कि इस झड़प में 4 प्रदर्शनकारियों को चोटें आई हैं, जबकि पुलिस के 10 जवान घायल हुए हैं. उन्होंने कहा कि कई प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पथराव किया और उन पर हमला करने की कोशिश की.
वहीं, करनाल की आईजी ममता सिंह ने न्यूज एजेंसी को बताया, प्रदर्शनकारियों ने हाइवे ब्लॉक कर दिए थे. उन्होंने पुलिस पर पथराव भी किया, जिसके बाद भीड़ को तितर-बितर करने के लिए हल्के बल का इस्तेमाल किया गया. उन्होंने बताया कि कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए कई प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया था, जिन्हें बाद में रिहा कर दिया गया.
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा, ‘सरकारी कामकाज में बाधा डालना लोकतंत्र के खिलाफ है. अगर वो विरोध करना चाहते थे, तो उन्हें शांतिपूर्ण तरीके से करना चाहिए था. अगर वो हाइवे जाम करते हैं और पुलिस पर पथराव करते हैं तो पुलिस भी कानून-व्यवस्था संभालने के लिए कदम उठाएगी.’
सियासी बयानबाजी भी हुई तेज…
किसानों पर हुई कार्रवाई के बाद सियासी बयानबाजी भी तेज हो गई. कांग्रेस सांसद राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने ट्वीट कर बीजेपी को किसान विरोधी बताया. उन्होंने ट्वीट कर लिखा, ‘फिर खून बहाया है किसानों का, शर्म से सिर झुकाया है हिंदुस्तान का.’
शर्म आनि चाहिए,
जिनके उपजाया अनाज खाते हो
हक मांगने पर लाठीयां बरसाते होकारनाल (हरियाणा) में अन्नदाताओं पर लाठीचार्ज।#नहीं_चाहिए_भाजपा#FarmersProtest#NoVoteToBJP#देश_किसानों_के_साथ_है#किसान_विरोधी_खट्टर pic.twitter.com/AWg5p39ybo
— Roshan Kumar Burnwal (@BurnwalRoshanKr) August 28, 2021
वहीं, कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला (Randeep Singh Surjewala) ने खट्टर सरकार की इस कार्रवाई की तुलना जनरल डायर से की है. उन्होंने कहा, किसानों के साथ जनरल डायर की तरह बर्ताव कर रही है खट्टर सरकार. पहले तीनों काले कानून से खेती का खून किया और अब किसानों का खून बहाया जा रहा है.
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