भोपाल। देश में चल रहे किसान आंदोलन के बीच मध्य प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल ने कहा है कि प्रदेश के किसानों को उसके बासमती का लाभ नहीं मिल पाता। जबकि पंजाब के किसान यही बासमती खरीदकर तीन गुना कीमत पर बेचते हैं। कृषि मंत्री कमल पटेल ने नई दिल्ली में मीडिया से कहा कि मध्य प्रदेश के किसान अब कनाडा, अमेरिका में बासमती चावल बेच सकेंगे। इसका रास्ता साफ हो गया है। उन्होंने कहा कि एपीडा के निदेशक और चेयरमेन को भी बताया गया है कि नर्मदा की तलहटी में बहुत अच्छा बासमती होता है, फिर भी मध्यप्रदेश को लाभ नही मिलता है। पंजाब के किसान यही चावल खरीदकर तीन गुना रेट पर बेचते हैं।
सरकार जीआई टैग जल्द दिलाने का करेगी प्रयास
उन्होंने कहा कि बासमती चावल के जीआई टैग के लिए मुख्यमंत्री शिवराज के नेतृत्व में काम किया गया है। अब एपीडा ने पंजाब की आपत्ति को हटा दिया है। सुप्रीमकोर्ट ने भी आपत्ति को वापस लेने के लिए निर्देश दे दिया है। अब सरकार जीआईटैग जल्द दिलाने का प्रयास करेगी। इससे किसानों को चावल की ज्यादा कीमत मिलेगी।
बर्ड फ्लू पर सरकार सतर्क
कृषि मंत्री ने कहा कि बर्ड फ्लू को लेकर सरकार सतर्क है। मुख्यमंत्री ने बैठक करके अधिकारियों को रोकथाम के निर्देश दिए हैं। सरकार रोकथाम के लिए हर कदम उठा रही है। गौरतलब है कि मध्य प्रदेश में बर्ड फ्लू का खतरा अब तेजी के साथ बढऩे लगा है। प्रदेश के 21 ज़िले इसकी चपेट में आ चुके हैं। हालांकि अभी इससे कोई खतरा इंसान की सेहत पर नहीं है। समय रहते सरकार ने सख्त कदम उठा लिए हैं। केरल, हिमाचल प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश के बाद गुजरात और हरियाणा में भी बर्ड फ्लू की पुष्टि हो गई है। गुजरात के जूनागढ़ से भोपाल की हाई सिक्यूरिटी लैब को भेजे गए सैंपल में बर्ड फ्लू होने की पुष्टि हुई है। इसी तरह हरियाणा के पंचकूला से आए सैंपल में भी बर्ड फ्लू होने की पुष्टि हुई है। गुजरात और हरियाणा के कुछ और जिलों से भी सैंपल भोपाल लैब को मिले हैं। इसके अलावा भोपाल की हाई सिक्यूरिटी लैब को छत्तीसगढ़ और झारखंड के रांची से भी सैंपल भेजे गए हैं। मतलब साफ है कि झारखंड और छत्तीसगढ़ में भी बर्ड फ्लू का खतरा पहुंच गया है।
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