चंडीगढ़ । पंजाब और हरियाणा के किसानो (Farmers of Punjab and Haryana) ने बाढ़ के कारण हुए नुकसान (For the Damage caused by Floods) के मुआवजे की मांग को लेकर (Demanding Compensation) चंडीगढ़ कूच किया (Marched to Chandigadh) ।
पंजाब और हरियाणा की संयुक्त राजधानी चंडीगढ़ की सीमा पर मंगलवार को प्रदर्शनकारी किसानों की भीड़ के प्रवेश को रोकने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया, जो बाढ़ के कारण फसल के नुकसान के लिए सरकार से मुआवजे की मांग कर रहे हैं। किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए, रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) को भी मोहाली सीमा पर तैनात किया गया है।संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले किसानों ने अपना प्रदर्शन शुरू कर दिया है, इसमें पंजाब और हरियाणा के 16 किसान संगठन शामिल हैं।
किसानों ने राज्य सरकार पर कृषि ऋण माफी, उनकी फसलों के लिए लाभकारी मूल्य सहित उनकी मांगों को स्वीकार करने के लिए दबाव डालने के लिए राष्ट्रीय राजमार्गों पर टोल प्लाजा पर धरना-प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान किसानों ने टोल प्लाजा से गुजरने वाले वाहनों का शुल्क नहीं काटने दिया। एहतियाती कदम उठाते हुए पंजाब पुलिस ने मंगलवार के विरोध मार्च से पहले राज्य भर से 100 से अधिक किसान नेताओं को हिरासत में ले लिया है।
सोमवार को संगरूर जिले के लोंगोवाल शहर में विरोध प्रदर्शन के दौरान एक किसान की मौत हो गई। शिरोमणि अकाली दल ने मांग की है कि मुख्यमंत्री भगवंत मान पर हत्या के आरोप में मामला दर्ज किया जाए। प्रदर्शन के दौरान पुलिस के साथ झड़प में किसान की मौत के लिए पुलिस को जिम्मेदार ठहराया गया।
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