एडिस अबाबा (Addis Ababa)। इथियोपिया (Ethiopia) में सुरक्षा बलों और मिलिशिया समूह (Security forces and militia groups) के बीच लड़ाई जारी है। इस बीच इथियोपिया के फिनोट सेलम में एक विस्फोट (explosion in phinot salem) हो गया था। विस्फोट में 26 लोगों की मौत (26 people died) हो गई। इथियोपियाई मानवाधिकार आयोग (Human rights commission) ने दो समूहों के बीच जारी झड़प के कारण गंभीर चिंता व्यक्त की है।
यह है पूरा मामला
विदेशी मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, फिनोट सेलम जनरल हॉस्पिटल के सीईओ मनये तेनाव ने बताया कि रविवार को क्षेत्र में विस्फोट हुआ था। विस्फोट के कारण अबतक 26 लोगों की मौत हो चुकी है। 50 लोग घायल हैं, जिनका अस्पताल में इलाज जारी है। सुरक्षा बलों और समूह के बीच जारी लड़ाई के कारण विस्फोट से पहले 160 लोगों का इलाज किया जा चुका है। बता दें, तीन अगस्त को अमहारा के सरकारी बलों और फानो नामक स्थानीय मिलिशिया के लड़ाई शुरू हो गई थी। इथियोपियाई मानवाधिकार आयोग (ईएचआरसी) ने गंभीर चिंता व्यक्त की है। दोनों समूहों के बीच तनाव काफी समय से जारी है।
इथियोपियाई सरकार ने चार अगस्त को अमहारा में छह महीने के आपातकाल की घोषणा कर दी, जिसपर मिलिशिया का कहना है कि इससे देश पर राष्ट्रीय संकट आ सकता है।
स्थाई कारणों को हल करना आवश्यक
ईएचआरसी का कहना है कि अम्हारा के कई इलाकों में भारी लड़ाई हुई है। इस दौरान तोपखानों का इस्तेमाल भी किया गया, जिस वजह से कई नागरिकों की मौत हो गई। वहीं कई नागरिक घायल हैं। हिंसा के कारण आवासीय क्षेत्रों और सार्वजनिक स्थानों को भी भारी नुकसान पहुंचा है। बहिर डार और गोंदर में भी हिंसा हो रही है। अदीस अबाबा में अमहारा मूल के लोगों की गिरफ्तारी हो रही है। हालांकि, नौ अगस्त के बाद से दोनों समूहों की हिंसा में कमी आई है। हिंसा के स्थाई कारणों को सुलझाना आवश्यक है।
नागरिकों की सुरक्षा पर जोर
विदेशी मीडिया के अनुसार, शुक्रवार को ऑस्ट्रेलिया, जापान, ब्रिटेन, न्यूजीलैंड और अमेरिका की सरकारों ने एक संयुक्त बयान जारी किया। इसमें उन्होंने दोनों पक्षों से नागरिकों की सुरक्षा पर जोर दिया है। उन्होंने कहा कि क्षेत्र में मानवाधिकों का सम्मान और शांतिपूर्ण तरीके से मामले को हल करने के लिए काम करना चाहिए।
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