डेस्क: एक दशक पहले बंद हो चुके टेंपो (Tempo) की मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) की राजनीति (Politics) में एंट्री हो चुकी है. मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव (CM Mohan Yadav) ने कांग्रेस (Congress) पर तंज कसते हुए कहा कि लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) बाद कांग्रेस के पास टेंपो की सवारी रह जाएगी. उन्होंने कहा, “साल 2014 में कांग्रेस सांसदों की संख्या दो बसों के बराबर थी, अब घटकर 2019 में एक बस के बराबर हो गई है.” उन्होंने कहा कि 2024 का चुनाव परिणाम आने के बाद कांग्रेस सांसदों की संख्या केवल टेंपो के बराबर रह जाएगी.
मध्य प्रदेश की राजनीति में टेंपो की एंट्री
उज्जैन में रोड शो करने के बाद मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने आमसभा को भी संबोधित किया. उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेताओं ने राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का न्योता ठुकरा कर सनातन धर्म को ललकारा है. मुख्यमंत्री ने कहा कि अभी तक कांग्रेस के कई नेता राम मंदिर का दर्शन करने नहीं पहुंचे हैं.
उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि साल 2014 में कांग्रेस सांसदों की संख्या 114 के आसपास थी. साल 2019 के लोकसभा चुनाव में घटकर 52 रह गई, मतलब 52 सीटर बस में बैठकर सभी सांसद सफर कर सकते हैं. मुख्यमंत्री ने आगे कहा, “अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में इस बार कांग्रेस सांसदों की संख्या टेंपो की सवारी के लायक रह जायेगी.”
शताब्दी एक्सप्रेस में करेंगे सवारी- कांग्रेस
प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व प्रवक्ता के के मिश्रा ने कहा है कि मुख्यमंत्री डॉक्टर यादव को कांग्रेस की चिंता करने की कोई आवश्यकता नहीं है. उन्होंने आगे कहा कि इस बार कांग्रेस सांसद शताब्दी एक्सप्रेस में सवार होकर दिल्ली के सिंहासन पर राज करेंगे. 4 जून को सारी तस्वीर साफ हो जाएगी. एक दशक पहले बंद हो चुके टेंपो का उज्जैन से गहरा नाता रहा है.
चुनावी मंच से टेंपो का जिक्र होने के बाद लोगों में मुख्यमंत्री का भाषण चर्चा का विषय बन चुका है. उज्जैन के क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी संतोष मालवीय ने बताया कि एक दशक पहले टेंपो बंद हो चुका है. टेंपो में अलग-अलग क्षमता के अनुसार सवारियां बैठती थीं. चालक सहित 9 से 14 सवारियों की क्षमता अनुसार टेंपों का पंजीयन होता था. अब पैसेंजर वाहनों में टेंपो का अस्तित्व खत्म हो चुका है.
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