नई दिल्ली: हरियाणा (Haryana) में कांग्रेस (Congress) की वापसी होगी या बीजेपी (BJP) जीत (Victory) की हैट्रिक लगाएगी, यह 8 अक्टूबर को ही पता चलेगा लेकिन एग्जिट पोल (Exit Poll) में कांग्रेस की पूर्ण बहुमत के साथ सरकार (Goverment) बनती हुई दिख रही है. ज्यादातर सर्वे (Survey) में कांग्रेस की जीत दिखाई गई है. एग्जिट पोल के आंकड़ों के मुताबिक, हरियाणा की 90 विधानसभा सीटों में से कांग्रेस को 50-58 सीटें मिल सकती हैं. हरियाणा में बहुमत का आंकड़ा 46 है. अगर हरियाणा में कांग्रेस की सरकार बनती तो यह पार्टी के लिए गेम चेंजर साबित हो सकती है. हरियाणा की जीत कांग्रेस के लिए कितना मायने रखती है?
हरियाणा में कांग्रेस की जीत का सबसे बड़ा असर दिल्ली (Delhi) और पंजाब (Punjab) में देखने को मिल सकता है. पंजाब में कांग्रेस पहले से ही स्ट्रॉन्ग रहा है लेकिन 2022 में उसे हार का सामना करना पड़ा था. आम आदमी पार्टी के हाथों उसे शिकस्त मिली थी. हरियाणा में मिलने वाली यह जीत इस बात का सबूत पेश कर सकती है कि कांग्रेस वहां भी वापसी का माद्दा रखती है जहां वह पहले लड़खड़ा गई थी. यह पार्टी के भीतर हालिया रणनीतिक और नेतृत्व पुनर्गठन की प्रभावशीलता का एक महत्वपूर्ण प्रमाण होगा. वहीं, दिल्ली में अगले साल विधानसभा चुनाव हैं. पिछले दो बार से कांग्रेस को यहां निराशा हाथ लगी है. हरियाणा में मिलने वाली जीत से दिल्ली में कांग्रेस को निश्चित बल मिलेगा. कांग्रेस दिल्ली में भी आने वाले विधानसभा चुनाव में बड़ी जीत का इरादा रखती है.
हरियाणा में कांग्रेस की जीत सुनिश्चित करने के लिए जाट और दलित दोनों समुदायों के समर्थन को महत्वपूर्ण माना जा रहा है. हरियाणा की आबादी का पांचवां हिस्सा दलित है. जाटव, वाल्मिकी, धानुक और मजहबी सिख ये महत्वपूर्ण समुदाय हैं. पार्टी ने सीएम फेस को लेकर कोई औपचारिक ऐलान नहीं किया है. भूपेंद्र सिंह हुड्डा और कुमारी सैलजा ये दो नाम आगे चल रहे हैं. दोनों का कहना है कि पार्टी हरियाणा में सरकार बनाएगी लेकिन सीएम कौन होगा यह हाईकमान तय करेगा.
एग्जिट पोल के अनुमान के मुताबिक अगर कांग्रेस पार्टी हरियाणा में जीतती है तो इससे राज्य के लोकसभा चुनावों में पार्टी के प्रभावशाली प्रदर्शन को बढ़ावा मिलेगा. 2024 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस और बीजेपी दोनों ने हरियाणा की आधी-आधी सीटों पर कब्जा किया था. 10 में से पांच सीटें कांग्रेस और पांच बीजेपी को मिली थीं. हरियाणा में जीत हासिल करके कांग्रेस यह जताने की कोशिश करेगी वह बदलने की क्षमता रखती है. हिमाचल पहले से उसके पास है, हरियाणा की जीत नॉर्थ में कांग्रेस के लिए एक और बड़ी उपलब्धि होगी.
हरियाणा में कांग्रेस को मिलने वाली जीत का मतलब यह होगा कि एक और सिटी बीजेपी के हाथ से निकल जाएगी. हैदराबाद और बेंगलुरु पहले से ही कांग्रेस के पास है. 2023 में तेलंगाना और कर्नाटक में बीजेपी को हार सामना करना पड़ा था.
हरियाणा में जीत मिलने के बाद चार राज्यों में कांग्रेस की सरकार हो जाएगी. 2020 से अब तक कांग्रेस के पास सिर्फ केवल तीन राज्यों में ही सत्ता रही है. कांग्रेस हरियाणा चुनाव से इस फेर को खत्म करना चाहती है. 2023 में कांग्रेस की चार राज्यों में सरकार बनी थी, लेकिन साल के आखिर में उसके पास तीन ही मुख्यमंत्री रह गए. तेलंगाना छोड़ मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में पार्टी चुनाव हार गई. 2021 में कांग्रेस के पास राजस्थान, छत्तीसगढ़ और पंजाब में सरकार थी. 2022 में पंजाब से कांग्रेस की सरकार चली गई.
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