पटना (Patna)। शातिर साइबर ठगों (vicious cyber thugs) ने घर बैठे ऑनलाइन काम दिलाने का झांसा देकर सॉफ्टवेयर इंजीनियर के खाते से 22 लाख रुपये उड़ा लिए। अपराधियों ने व्हाट्सएप (Whatsapp) पर मैसेज भेज पीड़ित से संपर्क किया था। इसके बाद झांसे में लेकर इंजीनियर (Engineer) का बैंक खाता खाली कर दिया। महाराष्ट्र और दिल्ली के बैंक खाते में ठगी की राशि स्थानांतरित की गई है। घटना की शिकायत साइबर क्राइम सेल और पटना के गर्दनीबाग थाने में की गई है। गर्दनीबाग थानेदार रंजीत कुमार रजक (Ranjit Kumar Rajak) ने बताया कि पुलिस मामले की छानबीन कर रही है।
पीड़ित सुमित कुमार गर्दनीबाग थाना के साधनापुरी मुहल्ला में रहते हैं। वह पुणे स्थित एक सॉफ्टवेयर (Software) कंपनी में कार्यरत हैं। पिछले महीने वह पटना आए थे। फिलहाल वर्क फॉम होम कर रहे हैं। सुमित ने बताया कि 25 मार्च को घर में कंपनी का ऑनलाइन (Online) काम कर रहे थे तभी व्हाट्सएप मैसेज आया। मैसेज में घर बैठे ऑनलाइन वर्क कर अच्छी कमाई की बात लिखी हुई थी। उन्होंने उस नंबर पर बात की।
फोन पर शातिर ने बताया कि वह बिग फैमिली नाम की कंपनी से बोल रहा है। कंपनी में रुपये निवेश करने पर मोटी रकम दी जाती है। पीड़ित सुमित कुमार ठग के झांसे में आ गए और उन्होंने कंपनी के खाते में शुरुआत में एक हजार रुपये ऑनलाइन भेज दिए। इस रकम की एवज में उन्हें 1300 रुपये वापस मिले। इस लेनदेन के दौरान साइबर अपराधियों ने उनके खाते का पूरा ब्योरा ले लिया और कई बार में 22 लाख रुपये निकाल लिए।
मैसेज से इंजीनियर को पता चला, निकल गए रुपये
साइबर अपराधियों ने पीड़ित से कहा कि यूट्यूब पर जितनी देर वीडियो देखेंगे उसके हिसाब से रुपये मिलेंगे। इसके लिए घर से ही ऑनलाइन काम करना होगा। झांसे में आते ही शातिरों ने धीरे-धीरे खाते से रुपये अपने खाते में स्थानांतरित कर लिए। इंजीनियर को इस बात की भनक तब लगी जब उन्हें रुपये निकासी का मैसेज मिला। मैसेज देखते ही सुमित कुमार के होश उड़ गए। उनका खाता पुणे के आईसीआईसीआई बैक में है। रुपये महाराष्ट्र के यस बैंक और नई दिल्ली के आईसीआईसीआई बैंक के खाते में स्थानांतरित किए गए हैं। शिकायत के बाद पुलिस उन खातों को फ्रीज करने की कार्रवाई कर रही है। अब पीड़ित के खाते में सिर्फ 100 रुपये बचे हैं।
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