धरती के सबसे अमीर अरबपति एलन मस्क (Elon Musk) अब इंटरनेट की दुनिया में तहलका मचाने की पूरी तैयारी कर चुके हैं। विश्वभर में इलेक्ट्रिक कारों के बाजार पर राज करने वाले अरबपति एलन मस्क ने अब इंटरनेट मार्केट पर कब्जा करने के ‘महाप्लान’ को पूरा करने के लिए युद्धस्तर पर प्रयास तेज कर दिया है। यही नहीं इस प्लान को पूरा करने में उन्हें दुनिया के सबसे दिग्गज उद्योगपति ज्योफ बेजोस से टक्कर लेनी पड़ रही है। एलन मस्क को अपनी इस योजना में भारत समेत विश्व के कई देशों में तेजी से कामयाबी भी मिलनी शुरू हो गई है। स्पेसएक्स कंपनी (SpaceX) के मालिक अरबपति एलन मस्क अपनी योजना में अगर सफल रहते हैं तो भारत जैसे देश से रिलायंस जिओ और एयरटेल जैसी कंपनियों की छुट्टी हो सकती है। आइए जानते हैं क्या है अरबपति एलन मस्क का महाप्लान……
जिओ की ‘छुट्टी’ करने का एलन मस्क ने बनाया ‘महाप्लान’
मस्क ने दुनियाभर से जिओ, एयरटेल जैसी कंपनियों की छुट्टी करने के लिए एक महाप्लान पर तेजी से काम करना शुरू कर दिया है। इसके तहत स्पेसएक्स ने स्टारलिंक इंटरनेट सर्विस के लिए करीब 1000 सैटेलाइट छोड़े हैं। इसी के साथ अब मस्क धरती का चक्कर काट रहे एक चौथाई उपग्रहों के मालिक बन गए हैं। पिछले दो साल में कंपनी ने एक दर्जन से ज्यादा Starlink मिशन भेजे हैं। सैटलाइट ट्रैकर सेलेसट्रैक के मुताबिक धरती की कक्षा में 946 स्टारलिंक सैटलाइट हैं जो कुल ऐक्टिव सैटलाइट का 27.3 प्रतिशत है। मस्क की कंपनी 40 हजार सैटलाइट भेजना चाहती है जिससे हाई-स्पीड इंटरनेट तैयार किया जा सके। Space X के पास अगले कुछ साल में 12000 स्टारलिंक सैटलाइट भेजने की इजाजत है। वहीं, 40 हजार सैटलाइट का सिस्टम तैयार करने के लिए उसे संयुक्त राष्ट्र के इंटरनैशनल टेलिकम्यूनिकेशन यूनियन से इजाजत की उम्मीद है। स्पेसएक्स को तेज गति से इंटरनेट देने के लिए अपने उपग्रहों को निचली कक्षा में करना जरूरी है ताकि सिग्नल को धरती तक पहुंचने में ज्यादा दूरी तय नहीं करनी पड़े। इसीलिए बड़ी तेजी से उपग्रह इस कक्षा में छोड़े जा रहे हैं।
अमेरिका से लेकर भारत तक पूरी दुनिया में हाई स्पीड इंटरनेट
एलन मस्क के सबसे लेटेस्ट सैटलाइट्स में लेजर लगी हैं जिन्हें सैटलाइट्स के बीच सिग्नल भेजने के लिए ग्राउंड इन्फ्रास्ट्रक्चर की जरूरत नहीं है। कंपनी की वेबसाइट के मुताबिक हालिया लॉन्च और आने वाले वक्त में विस्तार से 2021 में पूरी दुनिया को Internet Service देने का प्लान है। इस तरह अगर मस्क की योजना सफल रहती है तो उन्हें पूरी दुनिया में कहीं इंटरनेट की सुविधा देने में महारत हासिल हो जाएगी। इससे अफ्रीका और एशिया के उन दूरदराज इलाकों तक इंटरनेट की सुविधा मिलेगी जो अभी तक इससे महरूम हैं। SpaceX ने हाल ही में इतिहास बना दिया था जब एक ही मिशन पर कंपनी ने 143 सैटलाइट लॉन्च कर डाली थीं। इनमें से 133 कमर्शल और सरकारी सैटलाइट थीं। फ्लोरिडा के केप कनेवरल स्पेस फोर्स स्टेशन से SpaceX ने अपनी 10 स्टारलिंक सैटलाइट भी लॉन्च कीं। माना जा रहा है कि जिस स्पीड से कंपनी मिशन लॉन्च कर रही है, अगले साल तक कंपनी की कुल सैटलाइट 50% तक पहुंच सकती हैं।
भारत समेत दुनिया के एक ट्रिल्यन बाजार पर मस्क की नजर
एलन मस्क की नजर अब भारत समेत पूरी दुनिया की Telecom Industry पर है। SpaceX ने निवेशकों से कहा है कि स्टारलिंक की नजर इन-फ्लाइट इंटरनेट, मैरिटाइम सर्विसेज, भारत और चीन में डिमांड और रूरल कस्टमर्स पर है। यह पूरा बाजार एक ट्रिलियन डॉलर का है। स्पेसएक्स स्टारलिंक प्रॉजेक्ट के जरिए पूरी दुनिया में इंटरनेट सेवा देने की योजना बना रही है। अब एलन मस्क 100 MBPS सैटेलाइट बेस्ड इंटरनेट सेवा के जरिए तेजी से बढ़ रही भारतीय टेलीकम्युनिकेशन इंडस्ट्री में अपनी किस्मत आजमाना चाहते हैं। एलन मस्क ने भारत सरकार को देश में सैटेलाइट आधारित इंटरनेट सेवा देने की अनुमति देने का अनुरोध भी किया है। ट्राई ने भारत में ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिए पिछले साल अगस्त में एक कंसल्टेशन पेपर जारी किया था। इसके जवाब में SpaceX की सैटेलाइट गवर्नमेंट अफेयर्स पैट्रीशिया कूपर ने कहा कि स्टारलिंक के हाई स्पीड सैटेलाइट नेटवर्क से भारत के सभी लोगों को ब्रॉडबैंक कनेक्टिविटी से जोड़ने के लक्ष्य में मदद मिलेगी।
दुनियाभर में एलन मस्क की कंपनी को मिले 10 हजार यूजर
बताया जा रहा है कि एलन मस्क की कंपनी ने ट्रायल शुरू किया है जिसमें उसे दुनियाभर से अब तक 10 हजार यूजर मिल भी गए हैं। कंपनी अमेरिका, ब्रिटेन और कनाडा में धड़ाधड़ ग्राहकों के साथ साइन करने में लगी है। एयरोस्पेस और डिफेंस इंडस्ट्रीज पर नजर रखने वाली कंपनी Alvaraez & Marsal के एमडी Luigi Peluso ने कहा कि लोग कंपनी की सर्विस से खुश हैं। स्टारलिंक लोगों को सस्ते मे सेवा दे रही है। स्पेसएक्स ने अपने सॉल्यूशंस की व्यावहारिकता साबित की है। पिछले साल स्पेसएक्स के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर Gwynne Shotwell ने कहा कि स्टारलिंक ऐसा बिजनस है जिसे पब्लिक किया जा सकता है। पिछले साल टेस्ला इंक को बाजार ने हाथोंहाथ लिया था और कंपनी के शेयरों में उछाल की बदौलत मस्क दुनिया के सबसे बड़े रईस बन गए। इस बीच आसमान में इतने सारे आर्टिफिशल ऑब्जेक्ट होने से ऐस्ट्रोनॉमर्स परेशान हैं। इस समस्या के समाधान के लिए काफी समय से मांग उठती रही है।
आसान नहीं होगी मस्क की राह, जेफ बेजोस से कड़ी टक्कर
धरती के दो सबसे अमीर अरबपति स्पेसएक्स कंपनी के मालिक एलन मस्क और ऐमजॉन के संस्थापक जेफ बेजोस के बीच अंतरिक्ष पर ‘कब्जे’ को लेकर जंग छिड़ गई है। दरअसल, एलन मस्क और जेफे बेजोस दोनों ही बड़ी संख्या में सैटलाइट को लॉन्च करना चाहते हैं। इन सैटलाइट की ‘फौज’ की मदद से दोनों ही दिग्गज उद्योगपति धरती पर इंटरनेट की सप्लाई करेंगे। अंतरिक्ष की इस महत्वकांक्षी परियोजना को लेकर धरती पर संग्राम छिड़ गया है। एलन मस्क की कंपनी स्पेसएक्स ने हाल ही में अमेरिका के फेडरल कम्युनिकेशन कमिशन से अनुमति मांगी है कि उनके स्टारलिंक सैटलाइट को पहले की योजना के विपरीत अंतरिक्ष के निचले कक्षा में आपरेट करने की अनुमति दी जाए। उधर, दूसरी ओर ऐमजॉन के मालिक जेफ बेजोस ने कहा कि एलन मस्क की कंपनी को अनुमति देने से उनके कूइपर सैटलाइट में हस्तक्षेप और टक्कर का खतरा पैदा हो जाएगा। ऐमजॉन के सैटलाइट भी अंतरिक्ष से इंटरनेट सेवा देने के लिए डिजाइन किए गए हैं। ऐमजॉन को कम्युनिकेशन कमिशन से पिछले साल ही 3,236 उपग्रहों की फौज को लॉन्च करने की अनुमति मिली है।
एलन मस्क (Elon Musk) बनाम मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) से सस्ती होगी इंटरनेट सेवा!
विशेषज्ञों का कहना है कि अगर एलन मस्क की कंपनी स्पेसएक्स अगर भारत में एंट्री करती है तो यहां उसे मुकेश अंबानी की रिलायंस जियो (Reliance Jio) से कड़ा मुकाबला करना होगा जो 5जी लॉन्च करने की तैयारी में है। बैंक ऑफ अमेरिका ग्लोबल रिसर्च की रिपोर्ट के अनुसार जियो 4जी रोलआउट भारत के इंटरनेट क्षेत्र के लिए गेम चेंजर साबित हुआ है। इसने किफायती दामों पर यूजर्स को इंटरनेट मुहैया कराया जिससे बड़े पैमाने पर डेटा उपयोग को बढ़ावा मिला। भारत में अब करीब 65 करोड़ इंटरनेट उपयोगकर्ता हैं जो औसतन 12 GB डेटा प्रतिमाह इस्तेमाल करते हैं। जियो ने सस्ती कीमतों पर डेटा और सेवाएं प्रदान करके बाजार के आकार को बढ़ाया है। हालांकि एलन मस्क की कंपनी को इस फील्ड में कड़ी स्पर्द्धा का सामना करना पड़ेगा लेकिन गांवों में वह बढ़त बना सकते हैं जहां अभी भी लोग खराब स्पीड से लोग परेशान है। इसके लिए मस्क को कोई कोई केबल नहीं बिछाना पड़ेगा और वह सैटलाइट्स की मदद से भारत के गांवों में इंटरनेट क्रांति ला सकते हैं। मस्क के दबाव में भारतीय कंपनियों को भी अपने सेवा को सुधारना पड़ सकता है।
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