हैदराबाद। इस देश में वीआईपी कल्चर (VIP Culture) के चलते आज भी आम लोगों को कितनी मुसीबतों का सामना करना पड़ता है यह किसी से छिपा नहीं है, हालांकि इस पर लगाम जरूर लगाई गई फिर यह व्यवस्था पूरी तरह से समाप्त नहीं हो सकी है। देश में किसी को भी वीआईपी या वीवीआाईपी (VIP or VVIP) का दर्जा देने के संबंध में कोई सूची तैयार नहीं की जाती, बल्कि किसी भी व्यक्ति को खतरों की प्रकृति के आधार पर सुरक्षा प्रदान की जाती है। वीआईपी कल्चर को खत्म करने का वादा कई बार किया जा चुका है लेकिन सच्चाई ये है कि इस वजह से कई बार लोगों की जान तक चली जाती है।
बता दें कि हैदराबाद के व्यस्त मसाब टैंक इलाके से राज्य के गृह मंत्री और डीजीपी गुजरने वाले थे जिस वजह से वहां ट्रैफिक कांस्टेबल और पुलिस रास्ते को ट्रैफिक मुक्त बनाए रखने में लगी हुई थी। इस दौरान वहां भारी जाम लग गया जिसमें दो एंबुलेंस फंस गई। इन एंबुलेंस के डॉक्टरों ने गाड़ी से उतरकर ट्रैफिक कांस्टेबल को मरीज की स्थिति और गंभीरता समझाने की कोशिश की और उसे रास्ता देने को कहा, लेकिन वो अपनी ड्यूटी करता रहा। इससे दोनों एंबुलेंस में मौजूद डॉक्टर और स्टाफ इस कदर खफा हो गए कि उन्होंने उस ट्रैफिक कांस्टेबल को जमकर फटकार लगाई। घटना के बाद सड़क पर फंसे हुए अन्य वाहनों ने एंबुलेंस को आगे बढ़ने के लिए रास्ता दिया। घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद लोग इस तरह के वीआईपी कल्चर पर सवाल उठा रहे हैं।