रतलाम । ताल तहसील के अंतर्गत ग्रामीण क्षेत्रों में विगत दो-तीन दिन में चार प्रकरण कोरोना पोसिटिव आने से पूरे क्षेत्र में हलचल मची हुई है। स्वास्थ्य विभाग भी लगातार निरंतर नजर रखे हुए हैं कि कहीं ग्रामीण अंचलों में कोरोना महामारी की विकरालता धारण नहीं करले इस बात को विशेष ध्यान में रखा जा रहा है ।
अस्पताल के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार स्वास्थ्य विभाग की टीम ताल नगर में जहां जहां प्राइवेट अस्पताल चल रहे हैं, वहां पर सूचना पत्र चस्पा कर आगाह किया जा रहा है कि वे खांसी सर्दी एवं बुखार के मरीजों को सरकारी अस्पताल में इलाज के लिए प्रेरित कर वहां पहुंचाए ताकि उनकी समुचित जांच होकर उन्हें सही उपचार मिल सके।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार क्षेत्र के कई ग्रामीण अंचलों में बिना डिग्री के डाक्टर सक्रियता से खांसी, सर्दी व बुखार का उपचार करते देखे जा रहे हैं !
जबकि कोरोनावायरस का सक्रियता से ग्रामीण क्षेत्रों में प्रवेश होते देख स्वास्थ्य विभाग को इस समस्या पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है,ता कि कोरोनावायरस के संक्रमण से बचाव किया जा सके।
स्वास्थ विभाग एवं प्रशासनिक अधिकारियों एवं जिला प्रशासन को इस समस्या को गंभीरता से लेने की दरकार है।
तहसील में लगभग ९० गांव लगते हैं। इतने बड़े क्षेत्र में सीमित संसाधनों से व्यवस्था को बनाए रखना भी एक समस्या है,यानि तहसील स्तरीय व्यापक क्षेत्र में प्राथमिक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र होते हुए मात्र एक चिकित्सक कार्यरत है। महिला चिकित्सक का भी अभाव है। चिकित्सालय में विशेषज्ञ चिकित्सकों के काफी पद रिक्त पड़े हैं , जनप्रतिनिधियों द्वारा पूर्व में चिकित्सकों की पूर्ति के प्रयास किए जा चुके किंतु शासन के कान पर जूं तक नहीं रेंगी।
अब यह देखना है कि वर्तमान विकट परिस्थितियों का समाधान करने में शासन-प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग कितना सफल होता है?
क्या सरकार ऐसे संवेदनशील मामले को गंभीरता से शीघ्र हल करने की व्यवस्था करेगी?
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