बांझपन महिलाओं में एक गंभीर समस्या बनती जा रही है। ऐसे में प्रजनन क्षमता की कमी होने के कारण कपल्स को कंसीव करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। एक्सपर्ट्स के अनुसार, महिलाओं में बांझपन के कई कारण हो सकते हैं, जैसे ओव्यूलेशन डिसऑर्डर, फैलोपियन ट्यूब में क्षति, एंडोमेट्रियोसिस, यूटेरस या सर्विक्स (Endometriosis, uterus or cervix) से जुड़ी समस्याएं आदि। एक्सपर्ट कहते हैं कि अगर लक्षणों का पता लगाकर इसका समय पर इलाज कर किया जाए तो बांझपन को ठीक किया जा सकता है। आइए डॉक्टर के अनुसार जानते हैं कुछ ऐसे लक्षणों के बारे में जो बांझपन का संकेत दे सकते हैं।
एंडोमेट्रियोसिस-
कुछ महिलाओं को पीरियड्स के दौरान सामान्य से कम दर्द होता है या बिल्कुल नहीं होता, जबकि बहुत सी ऐसी महिलाएं हैं जिन्हें पीरियड्स के दौरान बहुत ज्यादा दर्द और ऐंठन का सामना करना पड़ता है। इसके अलावा, उनके पीरियड्स की अवधि काफी दिनों तक चलती है। एंडोमेट्रियोसिस एक ऐसी समस्या है जिसमें यूटेरस के अंदर पाया जाने वाला एक ऊतक (टिश्यू) बढ़कर गर्भाशय के बाहर फैलने लगता है। यह ऊतक अंडाशय, फैलोपियन ट्यूब या यूटेरस के बाहरी हिस्सों में और दूसरे हिस्सों में फैल सकता है। एंडोमेट्रियोसिस(endometriosis) होने पर पीरियड्स के दौरान तेज दर्द हो सकता है। एंडोमेट्रियोसिस के कुछ अन्य लक्षणों में अनियमित पीरियड्स और स्पॉटिंग, क्रोनिक पैल्विक दर्द (न केवल मासिक धर्म के दौरान), मल त्याग करने में दर्द, सेक्स के दौरान दर्द, पीठ दर्द, थकान, मतली आदि शामिल हैं।
मासिक धर्म चक्र में अनियमितता-
एक अनियमित चक्र, जिसमें मिस्ड पीरियड्स (missed periods) शामिल हैं, बांझपन का कारण बन सकता है। अनियमित पीरियड्स की वजह से ओव्यूलेशन नियमित तौर पर नहीं हो पाता है। पॉलीसिस्टिक ओवेरियन सिंड्रोम (पीसीओएस), मोटापा, कम वजन और थायराइड (thyroid) की समस्याओं सहित कई फेक्टर्स के कारण ओव्यूलेशन की अनियमितताएं हो सकती हैं।
हार्मोनल समस्याएं-
हार्मोन में उतार-चढ़ाव होने से शरीर में कई तरह के लक्षण दिखने लगते हैं। इनमें मुंहासे, हाथ पैरों का ठंडा पड़ना, सेक्स ड्राइव में कमी, यौन इच्छा में कमी, निप्पल डिस्चार्ज, चेहरे पर बालों का बढ़ना, सिर के बालों का पतला होना, वजन का बढ़ना आदि शामिल हैं। ऐसे लक्षण दिखने पर डॉक्टर की सलाह लें।
सेक्स के दौरान दर्द-
डिस्पेर्यूनिया, या सेक्स के दौरान दर्द, एक ऐसी समस्या है जो महिला की प्रजनन क्षमता को प्रभावित कर सकती है। इंफेक्शन, एंडोमेट्रियोसिस और फाइब्रॉएड ऐसी समस्याएं हैं जिनमें सेक्स के दौरान दर्द हो सकता है।
मासिक धर्म के दौरान रक्त-
मासिक धर्म की शुरुआत में आमतौर पर रक्त चमकदार लाल रंग का होता है और अगले कुछ दिनों में गहरा हो सकता है। अगर आपके मासिक धर्म का रक्त सामान्य से हल्का है या मासिक धर्म के शुरुआती दिनों में बहुत गहरा है, तो ये बांझपन का संकेत हो सकता है।
मोटापा–
मोटापे (obesity) से ग्रस्त महिलाओं में गर्भधारण की संभावना कम होती है और दूसरों की तुलना में प्रेग्नेंसी के दौरान समस्या होने की संभावना भी ज्यादा होती है।
हिस्टेरोसाल्पिंगोग्राफी, एंडोमेट्रियल बायोप्सी, लैप्रोस्कोपी(laparoscopy), हार्मोन चेकअप जैसे टेस्ट से बांझपन के कारण का पता लगाया जा सकता है। इसके बाद उपयुक्त उपचार विकल्पों को चुना जा सकता है। इसमें फैलोपियन ट्यूब (fallopian tubes) या ओवेरियन सिस्ट में ब्लॉकेज की वजह से सर्जरी, IVF (इनविट्रो फर्टिलाइजेशन), इंट्रायूटेरियन इनसेमिनेशन, ICSI (इंट्रासाइटोप्लाज्मिक स्पर्म इंजेक्शन), एग डोनेशन, GIFT (गेमेट इंट्राफैलोपियन ट्यूब ट्रांसफर) और ZIFT (जाइगोट इंट्राफैलोपियन ट्रांसफर) शामिल हैं।
एक्सपर्ट्स के अनुसार, एक हेल्दी लाइफस्टाइल बांझपन (infertility) की समस्या को काफी हद तक कम कर सकती है। सीमित मात्रा में कैफीन का सेवन करना, शराब और धूम्रपान से बचना, शरीर के वजन को बनाए रखना और तनाव को कम करने से काफी हद तक मदद मिल सकती है।
नोट– उपरोक्त दी गई जानकारी व सुझाव सामान्य जानकारी के लिए हैं इन्हें किसी चिकित्सक की सलाह के रूप में न समझें। हम इसकी सत्यता व सटीकता की जांच का दावा नही करते, कोई भी सवाल या परेंशानी हो तो डॉक्टर की सलाह जरूर लें ।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved