नई दिल्ली। संयुक्त राष्ट्र के लिए भारत के राजदूत टीएस तिरुमूर्ति ने कहा, अफगानिस्तान के पड़ोसी के तौर पर यहां की वर्तमान स्थितियां हमारे लिए गंभीर चिंता का विषय हैं। हिंसा के खत्म होने के कोई आसार नहीं दिख रहे हैं। संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट साफ करती है कि यहां नागरिकों की मौतें और निशाना बनाकर की गई हत्याएं रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई हैं। उन्होंने कहा कि धार्मिक व जातीय अल्पसंख्यकों, छात्राओं, अफगानी सुरक्षा बलों, उलमाओं, जिम्मेदार पदों पर नियुक्त महिलाओं, पत्रकारों, मानवाधिकार कार्यकर्ताओं और युवाओं को निशाना बनाया जा रहा है।
तिरुमूर्ति ने कहा कि यहां तक कि संयुक्त राष्ट्र के परिसर को भी नहीं छोड़ा गया, अफगानिस्तान के रक्षा मंत्री के आवास पर हमला हुआ, एक भारतीय पत्रकार की हत्या कर दी गई जब वह हेलमंद और हेरत में रिपोर्टिंग कर रहा था। स्पिन बोल्डाक में 100 से अधिक निर्दोष नागरिकों को निर्ममता से मार दिया गया। उन्होंने कहा, अफगानिस्तान में सुरक्षा की बिगड़ती स्थिति क्षेत्रीय शांति व स्थिरता के लिए एक गंभीर खतरा है। तिरुमूर्ति ने आगे कहा कि अफगानिस्तान में वैध और पारदर्शी लोकतंत्र की स्थापना के लिए भारत हमेशा उसके साथ खड़ा है।
आतंकवादियों की सप्लाई चेन हर हाल में तोड़नी होगी
उन्होंने कहा कि अफगानिस्तान में शांति स्थापित करने के लिए, यहां स्थित आतंकियां की सुरक्षित पनाहगाहों को तुरंत खत्म करना होगा और उनकी सप्लाई चेन को तोड़ना होगा। यह सुनिश्चित करने की जरूरत है कि अफगानिस्तान के पड़ोसियों और क्षेत्र को आतंकवाद, अलगाववाद और उग्रवाद से खतरा नहीं है। आतंकवाद के सभी स्वरूपों के लिए शून्य सहिष्णुता की नीति अपनाने की आवश्यकता है। यह सुनिश्चित करना भी जरूरी है कि कोई आतंकवादी गुट अपने नापाक इरादों को अंजाम देने के लिए अफगानिस्तान का इस्तेमाल न कर पाए।
On India’s part, we’ll continue to stand with Afghanistan in ensuring that peace and stability is restored through a legitimate & transparent democratic process that is essential for the long-term stability of Afghanistan & the region: TS Tirumurti, Ambassador of India to the UN pic.twitter.com/nIaK9GRbNE
— ANI (@ANI) August 6, 2021
तिरुमूर्ति ने आगे कहा कि उन लोगों को जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए जो आतंकवादियों को सामग्रियां और वित्तीय मदद मुहैया करवा रहै हैं। अंतरराष्ट्रीय समुदाय के रूप में हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि अफगानिस्तान को लेकर हमारी जो प्रतिबद्धता है वह बरकरार रहे। उन्होंने कहा कि भारत, अफगानिस्तान को वह हर संभव सहायता उपलब्ध कराता रहेगा जिससे वहां शांतिपूर्ण, लोकतांत्रित व समृद्ध भविष्य सुनिश्चित हो और अफगान समाज के सभी वर्गों के अधिकारों और हितों को बढ़ावा दिया जा सके और उन्हें संरक्षित किया जा सके।
‘पाकिस्तान से मिल रही है तालिबानी आतंकियों को मदद’
संयुक्त राष्ट्र के लिए अफगानिस्तान के राजदूत गुलाम एम इसाकजई ने कहा कि तालिबान को पाकिस्तान से मदद मिलती है। पाकिस्तान उनके लिए सुरक्षित पनाहगाह बना हुआ है। अफगानिस्तान में प्रवेश करने के लिए डूरंड रेखा के पास जमा तालिबानियों के वीडियो सामने आ रहे हैं। पाकिस्तानी अस्पतालों में तालिबानियों के इलाज के वीडियो सामने आ रहे हैं। इन बर्बरतापूर्ण घटनाओं में तालिबान अकेला नहीं है। उसे अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी नेटवर्क से विदेशी ताकतों की ओर से मदद मिल रही है जो क्षेत्रीय शांति व स्थिरता के लिए बड़ा खतरा है।
Taliban enjoys safe haven in supply&logistic extended to their war machine, from Pakistan. Video of Talibanis congregating close to Durand Line to enter Afghanistan, bodies’ transfer for mass burial&treatment of Talibanis in Pak hospitals emerging: Afghanistan’s Ambassador to UN pic.twitter.com/LX8po09nwg
— ANI (@ANI) August 6, 2021
गुलाम एम इसाकजई ने कहा कि अप्रैल मध्य से तालिबान और उसके समर्थन वाले विदेशी आतंकी गुटों ने 31 प्रांतों में पांच हजार से अधिक हमलों को अंजाम दिया है। ये हमले 10 हजार से अधिक विदेशी लड़ाकों के सहयोग से किए गए हैं। ये आतंकवादी अलकायदा, लश्कर-ए-तैयबा, टीटीपी (तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान), आईएसआईएल (इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड दि लैवेंट) जैसे 20 आतंकवादी संगठनों के हैं। उन्होंने कहा कि ये आतंकवादी हमारे देश में घुस आए और तालिबान के साथ मिलकर हमारी सरकार के खिलाफ लड़ रहे हैं।
‘हिंसा को रोकने के लिए स्पष्ट बयान जारी करे संयुक्त राष्ट्र’
अफगानिस्तान में संयुक्त राष्ट्र महासचिव की विशेष प्रतिनिधि डेब्रा लियोन ने अफगानिस्तान को लेकर कहा कि यूएनएससी को स्पष्ट बयान जारी करना चाहिए कि शहरों के खिलाफ हमले बंद होने चाहिए। देशों को सामान्य युद्धविराम पर जोर देना चाहिए, बातचीत फिर से शुरू करनी चाहिए और दोहराना चाहिए कि जबरन बनी सरकार को मान्यता नहीं दी जाएगी। उन्होंने कहा कि अपराधियों को जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए। अफगानिस्तान खतरनाक मोड़ पर है। पिछले कुछ सप्ताहों में, अफगानिस्तान एक नए विनाशकारी चरण में प्रवेश कर गया है।
Afghanistan is at a dangerous turning point. In the past weeks, Afghanistan has entered a new destructive phase. Taliban has achieved significant territorial gains: Deborah Lyons, Special Representative of UN Secretary-General for Afghanistan in a UNSC briefing chaired by India pic.twitter.com/nMqusO7WN9
— ANI (@ANI) August 6, 2021
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