वाराणसी : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कहा कि हाल ही में किए गए कृषि सुधारों का सीधा लाभ किसानों को मिलने वाला है और इन सुधारों के जरिए अन्नदाताओं की कड़ी मेहनत से होने वाले फायदों का बड़ा हिस्सा हड़प जाने वाले बिचौलियों को सिस्टम से दूर किया जा सकेगा। वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से वाराणसी में 600 करोड़ रुपये से अधिक की 30 विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास करने के बाद प्रधानमंत्री ने ये बातें कहीं। उन्होंने कहा कि उनका प्रयास काशी के हर व्यक्ति की भावनाओं के अनुरूप ही विकास के पहिये को आगे बढ़ाना है। प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले छह साल में वाराणसी में विभिन्न क्षेत्रों में विकास के कई काम हुए हैं जिससे इस ऐतिहासिक नगरी को नई पहचान मिल रही है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य अधोसंरचना विकास के क्षेत्र में बनारस में ”अभूतपूर्व” काम हुआ है और अब वह पूरे पूर्वांचल क्षेत्र के लिए स्वास्थ्य सुविधाओं का केंद्र बनता जा रहा है। गांव, गरीब और किसान को ”आत्मनिर्भर अभियान” का सबसे बड़ा स्तंभ और लाभार्थी बताते हुए मोदी ने कहा, ”हाल में जो कृषि सुधार हुए हैं, उससे किसानों को सीधा लाभ होने वाला है। किसानों के नाम पर किसानों की मेहनत हड़प जाने वाले बिचौलियों को सिस्टम से दूर किया जा रहा है।”
प्रधानमंत्री ने इस बात पर गर्व जताया कि इस साल पहली बार वाराणसी से फल, सब्जी और धान विदेश के लिए निर्यात किया गया है। उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय चावल संस्थान हो या दूध प्रसंस्करण संयंत्र या फिर जल्दी खराब हो सकने वाली वस्तुओं के लिए बने कार्गो केंद्र, ऐसी अनेक सुविधाओं से किसानों को बहुत लाभ हो रहा है। बनारस में अधेसंरचना विकास के क्षेत्र में हुए कार्यो का विस्तार से उल्लेख करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि छह साल पहले उन्हें जब से क्षेत्र के लोगों की सेवा करने का अवसर मिला है, तब से अब तक यहां उड़ानों की संख्या चार गुनी हो गई है।
उन्होंने कहा, ”पहले बनारस में हर दिन 12 फ्लाइट चलती थी, आज इनकी संख्या यह चार गुना बढ़कर 48 हो गई है। बनारस में सुविधाएं बढ़ती देख बनारस आने वालों की संख्या भी बढ़ रही है। बनारस में तैयार हो रहा आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर यहां रहने वाले और आने वाले लोगों का जीवन आसान बना रहे हैं।”
उन्होंने कहा, ”बीते छह साल से बनारस में स्वास्थ्य के अधोसंरचना पर अभूतपूर्व काम हुआ है। बनारस उत्तर प्रदेश ही नहीं पूरे पूर्वांचल के लिए स्वास्थ्य सुविधाओं का केंद्र बनता जा रहा है। बनारस में आज लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल में सुविधाओं का विस्तार हुआ है। बनारस में आज जो चौतरफा विकास हो रहा है, हर क्षेत्र में विकास हो रहा है, उसका पूर्वांचल सहित पूरे पूरे भारत को लाभ हो रहा है। अब पूर्वांचल के लोगों को छोटी-छोटी जरूरतों के लिए दिल्ली और मुंबई के चक्कर नहीं लगाने पड़ते हैं।”
उन्होंने कहा, ”आज एक तरफ शिलान्यास हो रहा है तो दूसरी तरफ लोकार्पण भी हो रहा है। आज भी लगभग 220 करोड़ रुपये की योजनाओं के लोकार्पण के साथ-साथ करीब 400 करोड़ रुपये की 14 योजनाओं पर काम शुरू हुआ है।” उन्होंने कहा कि बनारस में शहर और देहात की विकास योजनाओं में पर्यटन भी हो, संस्कृति भी हो और सड़क बिजली पानी भी, हमेशा यही प्रयास होता है कि काशी के हर शख्स के भावनाओं के अनुरूप ही बनारस में विकास का पहिया तेजी से आगे बढ़े।
उन्होंने कहा, ”धीरे-धीरे यहां के घाटों की तस्वीर बदल रही है। कोरोना का प्रभाव कम होने पर जब पर्यटकों की संख्या और बढ़ेगी तो वह बनारस की और सुंदर छवि यहां से लेकर जाएंगे। गंगा घाटों की स्वच्छता और सुंदरीकरण के साथ-साथ अब सारनाथ की भव्यता भी बढ़ जाएगी।”
उन्होंने जिन परियोजनाओं का उद्घाटन किया उनमें सारनाथ लाइट एंड साउंड शो, लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल रामनगर का उन्नयन, सीवरेज संबंधित कार्य, गायों की सुरक्षा और संरक्षण के लिए बुनियादी ढांचागत सुविधाओं का प्रबंध, बहुउद्देशीय बीज भंडार गृह, 100 मीट्रिक टन कृषि उपज क्षमता वाले गोदाम, आईपीडीएस चरण-2, संपूर्णानंद स्टेडियम में खिलाड़ियों के लिये एक आवास, वाराणसी शहर के स्मार्ट लाइटिंग कार्य, 105 आंगनवाड़ी केंद्र और 102 गौ आश्रय केंद्र शामिल हैं।
वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से आयोजित इस कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री ने परियोजनाओं के लाभार्थियों के साथ संवाद भी किया। इस कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी लखनऊ से शामिल हुए। प्रधानमंत्री ने इस दौरान दशाश्वमेध घाट और खिड़किया घाट का पुनर्विकास, पीएसी पुलिस बल के लिए बैरक, काशी के कुछ वार्डों का पुनर्विकास, बनिया बाग में पार्क के पुनर्विकास के साथ पार्किंग सुविधा, गिरिजा देवी संस्कृत शंकुल में बहुउद्देश्यीय हॉल के उन्नयन सहित शहर में सड़कों की मरम्मत और पर्यटन स्थलों के विकास परियोजनाओं का शिलान्यास भी किया।
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