भोपाल। कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने भोपाल में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जमकर घेरा है। दिग्विजय सिंह ने आरोप लगाया है कि नरेंद्र मोदी नाथूराम गोडसे की विचारधारा के हैं, वह गांधीजी की विचारधारा के कतई नहीं हैं। बीजेपी के लोग गांधीजी और गांधीजी की विचारधारा के खिलाफ हैं। दिग्विजय सिंह प्रेस कांफ्रेंस के बाद योग गुरु बाबा रामदेव के खिलाफ भोपाल के टीटी नगर थाने में शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने आरोप लगाया है कि बाबा रामदेव ने अपने उत्पादों के प्रचार के दौरान ऐसी टिप्पणी की है, जिससे लोगों की धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैं।
दिग्विजय सिंह ने कहा कि भाजपा विधायक गोलू शुक्ला के बेटे द्वारा चामुंडा माता मंदिर के पुजारी के साथ की गई मारपीट को लेकर कहा कि कांग्रेस के विरोध और प्रदर्शन के चलते विधायक के बेटे पर एफआईआर हुई है, गिरफ्तारी अभी भी नहीं हुई है। आज भी उन्हें प्रोटेक्ट किया जा रहा है। भाजपा और भाजपा के लोगों से संबंधित लोगों को अहंकार हो गया है कि हम कुछ भी करें, पुलिस हम पर कुछ नहीं करेगी। दिग्विजय सिंह ने सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन का पालन राज्य सरकार को करने का जिक्र करते हुए कहा अशांति न फैले, इसके लिए ऐसे काम सरकार को ध्यान देना चाहिए। इंदौर में दलित परिवार के दूल्हे को मंदिर में दर्शन न करने जाने के मामले में दिग्विजय सिंह ने कहा कि महू में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने लंबा-चौड़ा भाषण अंबेडकर जयंती पर दिया है लेकिन आज भी अनुसूचित जाति समाज का व्यक्ति मंदिर में न जा सके, यह घोर अपराध है। ऐसे मामले में कार्रवाई की जानी चाहिए।
दिग्विजय ने कांग्रेस के शासन में मुसलमानों के भविष्य से खिलवाड़ किए जाने और उन्हें पंचर बनाने वाला बनने के लिए मजबूर करने के सवाल पर कहा कि क्या पंचर बनाने वाला हर व्यक्ति मुसलमान है? क्या हिन्दू लोग पंचर नहीं बना रहे हैं।
दिग्विजय सिंह ने योगगुरु बाबा रामदेव पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि बाबा रामदेव ने अपने प्रोडक्ट्स की बिक्री बढ़ाने के लिए धर्म और नफरत का सहारा लिया है, जिससे देश में सांप्रदायिक तनाव फैलाने की कोशिश की जा रही है। सिंह ने कहा, भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस धर्म का इस्तेमाल कर समाज में नफरत फैला रहे हैं और रामदेव जैसे लोग उनके इस एजेंडे को आगे बढ़ा रहे हैं। उन्होंने बाबा रामदेव को व्यापारी बताते हुए कहा कि वो धर्म, स्वदेशी और राष्ट्रवाद के नाम पर नफरत फैलाकर अपने प्रोडक्ट्स बेच रहे हैं।
दिग्विजय सिंह ने बाबा रामदेव द्वारा एक्स पर डाले गए एक वीडियो का ज़िक्र किया, जिसमें रामदेव ने शरबत जिहाद शब्द का इस्तेमाल किया। उन्होंने आरोप लगाया कि रामदेव ने रूह अफज़ा शरबत को मुसलमानों से जोड़ते हुए कहा कि उससे मिलने वाले पैसे से मस्जिदें और मदरसे बनते हैं जबकि पतंजलि का शरबत पीने से गुरुकुल और आचार्यकुलम बनते हैं।दिग्विजय सिंह ने कहा, यह बयान न केवल आपत्तिजनक है, बल्कि देश के संविधान और कानून के खिलाफ भी है। यह धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाला है और समाज में नफरत फैलाने वाला है। उन्होंने बताया कि यह बयान भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 196 (1)(क), 299 और आईटी एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत दंडनीय अपराध है। इसको लेकर वे बाबा रामदेव के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराएंगे। सिंह ने कहा कि बाबा रामदेव ने पहले भी कोरोना वैक्सीन को लेकर झूठे दावे किए थे, जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें फटकार लगाई थी।
रामदेव ने जिस शरबत ब्रांड का जिक्र किया, उसको लेकर दिग्विजय सिंह ने स्पष्ट किया कि वह कंपनी दशकों से देश में आयुर्वेदिक और यूनानी उत्पाद बना रही है और उसका मालिक मुस्लिम होने के कारण रामदेव उस पर हमला कर रहे हैं। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या मुस्लिम कंपनियों का कोई भी प्रोडक्ट जिहाद कहलाएगा? दिग्विजय सिंह ने सरकार से मांग की कि बाबा रामदेव पर सख्त से सख्त कार्रवाई की जाए और उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज हो। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी ऐसे नफरत फैलाने वाले बयानों का संसद से लेकर सड़क तक विरोध करेगी।
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