- ट्रैफिक व्यवस्था हो जाती है पूरी तरह फेल-एक साथ छोड़ देते हैं सभी वाहनों को
उज्जैन। सवारी निकलने के बाद शहर की यातायात व्यवस्था पूरी तरह ध्वस्त हो जाती है और गोपाल मंदिर क्षेत्र सहित शहर के कई हिस्सों में जाम लग जाता है। महाकाल की सवारी जब गोपाल मंदिर क्षेत्र में पहुँच जाती है तो उसके बाद बेरिकेट खोल दिए जाते हैं और मल्टीलेवल पार्किंग से भी वाहनों को छोडऩा शुरू कर दिया जाता है, इधर पैदल पब्लिक जो सवारी देखने आती है वह भी अपने घर जाने लगती है।
ऐसे में टंकी चौक से लेकर गोपाल मंदिर क्षेत्र और मिर्जा नईम बेग मार्ग तथा सराफा क्षेत्र सहित कंठाल, तेलीवाड़ा, नईसड़क, फव्वारा चौक, तोपखाना, इंदौर गेट आदि क्षेत्रों में जाम लग जाता है और यह जाम दो से तीन घंटे तक नहीं खुलता। ट्रैफिक पुलिस को इस मामले में व्यवस्थित प्लान बनाना चाहिए की सवारी जाने के बाद कितने वाहनों को छोडऩा है और कितने लोगों को निकलने देना है नहीं तो हर बार जाम की स्थिति लगेगी और लोग जाम में फंस जाते हैं और देर रात तक जाम नहीं खुल पाता है।