इन्दौर। पिछले कुछ दिनों से शहर (Indore) के कई इलाकों में जलसंकट (Water crisis) के कारण लोग परेशान हो रहे हैं। वहीें दूसरी ओर सरकारी बोरिंग (Government boring) खराब होने की शिकायत के बावजूद कार्रवाई में लापरवाही को लेकर तीन सहायक यंत्रियों (assistant engineers) पर कार्रवाई कर उनका वेतन काटा जा रहा है। अफसरों को निर्देश दिए गए हैं कि सभी क्षेत्रों की टंकियां पूरी क्षमता से भरें और जल वितरण में कहीं भी लापरवाही नहीं हो।
नगर निगम के अपर आयुक्त अभिलाष मिश्रा ने जलकार्य विभाग के अफसरों की बैठक बुलाई थी, जिसमें सर्वाधिक यह मुद्दा उठा कि आखिर शहर में पूरी क्षमता से पानी मिल रहा है तो वार्डों में टंकियों के माध्यम से बांटा क्यों नहीं जा रहा है। इस पर उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि सभी टंकियां पूरी क्षमता से भरें, ताकि वार्डों में आने वाली शिकायतों में कमी आ सके। टैंकर से पानी वितरण की व्यवस्था के साथ हर रोज वार्डों में टंकियों से बांटे जाने वाले पानी की अफसर निगरानी रखें। उन्होंने अफसरों से पूछा कि सरकारी बोरिंगों के बंद होने और खराबी की शिकायतों के मामले में कार्रवाई क्यों नहीं की जा रही है। पिछले दिनों झोन क्रमांक 4 के अंतर्गत भागीरथपुरा क्षेत्र में कई जगह बोरिंग खराब होने की शिकायतों के एक से डेढ़ माह बाद तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। इस पर उन्होंने लापरवाही को लेकर झोन 4 के सहायक यंत्री और वार्ड 11-12 के सहायक यंत्री का वेतन काटने के निर्देश दिए। उन्होंने अफसरों से कहा कि जब निगम के साढ़े 5 हजार से ज्यादा सरकारी बोरिंगों के मेंटेनेंस हेतु एजेंसियों को काम दिया गया है तो फिर बंद पड़े बोरिंग क्यों नहीं सुधरवाए जा रहे हैं।