भोपाल। राजधानी में बीते एक महीने में संदिग्ध डेंगू से सात लोगों की मौत हुई। इससे स्वास्थ्य विभाग परेशान है। अधिकारी डेंगू से मौत होना नहीं मान रहे हैं। अब इन्हीं सात मृतकों में से तीन मरीजों की मौत का आडिट कराया जा रहा है। इसकी रिपोर्ट के बाद तय होगा कि मौत की वजह डेंगू था या नहीं। यह आडिट मलेरिया विभाग करवा रहा है। हाल में तीन मौतों के डेथ आडिट की जिम्मेदारी जयप्रकाश जिला अस्पताल के सिविल सर्जन डा. राकेश श्रीवास्तव को दी है। इसके बाद ही यह तय हो सकेगा कि मौत का कारण क्या था। सीएमएचओ डा. प्रभाकर तिवारी ने बताया कि मौत का कारण डेंगू को नहीं माना जा सकता है। उन्होंने बताया कि प्लेटलेट्स कम होने के दर्जनों कारण हो सकते हैं।
इसे लेकर भी विभाग गंभीर है और प्राथमिकता यह है कि अब किसी की भी मौत नहीं हो। वायरल और डेंगू फीवर में बुखार के चलते लोगों को सेप्टीसीमिया हो जाता है। इससे खून में संक्रमण हो रहा है। स्वास्थ्य विभाग के डेथ आडिट के मुताबिक जिले में सेप्टीसीमिया से दो लोगों की मौत हुई है। सेप्टीसीमिया के कारण लोगों को मल्टी आर्गन फेल्योर का सामना भी करना पड़ रहा है। स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि सेप्टिसीमिया से मरीजों के लिवर में सूजन आ रही है। एंजाइम का रिसाव हो रहा है। इसके अलावा सांस की नली, फेफड़ों और दूसरे अंगों में संक्रमण फैल रहा है। जांच कराने पर रिपोर्ट में डेंगू की पुष्टि नहीं होती, लेकिन प्लेटलेट्स घट जाती हैं। यह काफी गंभीर है, लेकिन विभाग इसकी जानकारी देने से बच रहा है।
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