कोर्ट ने कहा- दिल्ली हिंसा में दिखती है गहरी साजिश
नई दिल्ली। कड़कड़डूमा कोर्ट ने दिल्ली दंगों के दौरान इंटेलिजेंस ब्यूरो स्टाफ अंकित शर्मा हत्याकांड में आरोपी आम आदमी पार्टी के निलंबित निगम पार्षद ताहिर हुसैन को बड़ा झटका दिया है। कोर्ट ने ताहिर हुसैन की जमानत याचिका खारिज कर दी है। कोर्ट ने जमानत याचिका खारिज करते हुए कहा है कि दिल्ली के दंगों का परिणाम गहरी साजिश नजर आ रही है। कोर्ट ने कहा ऐसा लग रहा है कि उत्तर-पूर्वी दिल्ली के क्षेत्र में हुए दंगे संगठित तरीके से करवाया गया है। दंगे गहरी साजिश का हिस्सा थे। इस पूरे मामले में हुसैन के शामिल होने के संबंध में जांच की जा रही है। कोर्ट ने याचिका खारिज करते हुए यह भी कहा PFI, पिंजरातोड़ और जामिया के सदस्यों के साथ इसके अलावा समन्वय समिति, यूनाइटेड अगेंस्ट हेट ग्रुप और एंटी-सीएए प्रदर्शनकारियों के साथ ताहिर के संबंध की भूमिका भी जांच हो रही है।
आपको बता दें कि क्राइम ब्रांच ने दिल्ली हिंसा के दौरान आईबी स्टाफ अंकित शर्मा की हत्या के मामले में कड़कड़डूमा कोर्ट में दाखिल 650 पन्नों की चार्जशीट में ताहिर हुसैन सहित 10 लोगों को आरोपी बनाया है। क्राइम ब्रांच ने चार्जशीट में दावा किया है कि दिल्ली हिंसा के दौरान अंकित शर्मा की हत्या और दंगों के पीछे एक गहरी साजिश थी, क्योंकि निलंबित आप पार्षद ताहिर हुसैन की अगुवाई वाली भीड़ ने उन्हें विशेष रूप से निशाना बनाया था।
पुलिस ने कहा कि अंकित शर्मा की हत्या करने के बाद भीड़ ने उनके शव को पास के नाले में फेंक दिया था, जिसे अगले दिन बाहर निकाला गया था। हिंसा के दौरान एक छत पर खड़े एक गवाह ने अपने मोबाइल फोन पर वीडियो कैप्चर किया था, जिसमें व्यक्तियों के एक समूह को मृतकों को नाले में फेंकते हुए दिखाया गया है। पोस्टमार्टम के दौरान, डॉक्टरों ने अंकित शर्मा के शरीर पर 51 तेजधार हथियार से घाव के निशान पाए थे।
गौरतलब है कि CAA के समर्थकों और विरोधियों के बीच संघर्ष के बाद 24 फरवरी को उत्तर-पूर्वी दिल्ली के जाफराबाद, मौजपुर, बाबरपुर, घोंडा, चांदबाग, शिव विहार, भजनपुरा, यमुना विहार इलाकों में सांप्रदायिक दंगे भड़क गए थे। इस हिंसा में कम से कम 53 लोगों की मौत हो गई थी और 200 से अधिक लोग घायल हो गए थे। साथ ही सरकारी और निजी संपत्ति को भी काफी नुकसान पहुंचा था। उग्र भीड़ ने मकानों, दुकानों, वाहनों, एक पेट्रोल पम्प को फूंक दिया था। स्थानीय लोगों तथा पुलिस कर्मियों पर पथराव भी किया था। इस दौरान राजस्थान के सीकर के रहने वाले दिल्ली पुलिस के हेड कॉन्स्टेबल रतनलाल की 24 फरवरी को गोकलपुरी में हुई हिंसा के दौरान गोली लगने से मौत हो गई थी और डीसीपी और एसीपी सहित कई पुलिसकर्मी गंभीर रूप से घायल गए थे। साथ ही आईबी स्टाफ अंकित शर्मा की हत्या करने के बाद उनकी लाश नाले में फेंक दी गई थी।
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