नई दिल्ली । दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) ने कहा कि दिल्ली सरकार (Delhi Government) केंद्र की सहायता स्वीकार नहीं कर रही है (Is not accepting Centre’s Help) । दिल्ली में आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना को दिल्ली सरकार द्वारा लागू नहीं किए जाने पर दिल्ली हाई कोर्ट ने आम आदमी पार्टी की सरकार को फटकार लगाई है । हाई कोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा कि दिल्ली सरकार दिवालिया हो गई है।
दरअसल, भाजपा के सात सांसदों ने आतिशी सरकार द्वारा आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना को लागू करने को लेकर दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका दायर की। उन्होंने हाई कोर्ट से इस योजना को दिल्ली में लागू करने का निर्देश देने की अपील की है। दिल्ली हाई कोर्ट ने इस मामले में सुनवाई करते आतिशी सरकार के रवैए पर चिंता जताई। मुख्य न्यायाधीश मनमोहन और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की पीठ ने सुनवाई करते हुए कहा, “यह अजीब बात है कि दिल्ली सरकार, केंद्र की सहायता स्वीकार नहीं कर रही है, जबकि उनके पास खुद की स्वास्थ्य प्रणाली के लिए पैसा नहीं है।” उन्होंने टिप्पणी करते हुए आगे कहा कि आप सही में दिवालिया हो चुके हैं। अस्पतालों में मशीनें भी काम नहीं कर रही हैं और आपके पास पैसा भी नहीं है।
उल्लेखनीय है कि ‘आयुष्मान भारत योजना’ को दिल्ली में लागू नहीं किया गया है। आम आदमी पार्टी का कहना है कि दिल्ली सरकार लोगों को अस्पतालों में मुफ्त और बेहतर सुविधा दे रही है। यहां के लोगों को ‘आयुष्मान भारत योजना’ की जरूरत नहीं है। हालांकि, भाजपा का कहना है कि राजनीतिक दुश्मनी की वजह से केजरीवाल दिल्ली के लोगों को ‘आयुष्मान भारत योजना’ के लाभ से वंचित रख रहे हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 29 अक्टूबर, 2024 को 70 वर्ष से अधिक आयु के वरिष्ठ नागरिकों को इस योजना में शामिल करने की घोषणा की। प्रधानमंत्री ने एक कार्यक्रम के दौरान कहा था, “मैं दिल्ली और पश्चिम बंगाल के 70 वर्ष से अधिक उम्र के हर बुजुर्ग से क्षमा मांगता हूं कि मैं आपकी सेवा नहीं कर पाऊंगा। मुझे पता तो चलेगा कि आपको कष्ट है, लेकिन मैं आपकी सहायता नहीं कर पाऊंगा, क्योंकि अपने राजनीतिक स्वार्थ के कारण दिल्ली और पश्चिम बंगाल की सरकार ‘आयुष्मान भारत योजना’ से जुड़ नहीं रही है।”
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