उज्जैन। नेताओं ने नया डेम नहीं बनाया और इसके कारण शहर जल संकट भुगत रहा है। गंभीर डेम का गहरीकरण किया जा रहा है लेकिन उसका परिणाम क्या होगा कुछ कहा नहीं जा सकता। क्योंकि इससे मात्र कुछ मात्रा में ही पानी इक_ा किया जाएगा। आवश्यकता है नया डेम बनाने की।
हर वर्ष बारिश में क्षमता अनुसार भराने के बावजूद गंभीर बांध मार्च आने से पहले ही खाली हो जाता है और शहर को जलसंकट का सामना करना पड़ता है। गंभीर बांध की जल संग्रहण क्षमता बढ़ाने के लिए कलेक्टर नीरज कुमार सिंह के निर्देश पर गुरुवार से गहरीकरण का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है, जो 15 जून तक चलाया जाएगा। बांध के गहरीकरण के लिए नोडल एजेंसी जल संसाधन विभाग को बनाया गया है जिनके द्वारा गहरीकरण के लिए उपयुक्त स्थानों का चिह्नित किया गया जहां से गाद निकाली जाएगी। गहरीकरण कार्य के लिए खनिज विभाग द्वारा नगर निगम, एमपीआरडीसी राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण से समन्वय कर जेसीबी, पोकलेन, डंपर वाहन आदि की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी। फिलहाल 4 जेसीबी, डंपर और 25 ट्रैक्टर ट्रॉली गहरीकरण के लिए लगाएं गए हैं। जनपद पंचायत उज्जैन और जनपद पंचायत घटिया द्वारा किसानों को मिट्टी उपलब्ध कराई जाएगी। साथ ही संबंधित ग्राम पंचायत द्वारा निकाली गई मिट्टी रिकॉर्ड का संधारण किया जाएगा। अनविभागीय अधिकारी उज्जैन ग्रामीण और अनुविभागीय अधिकारी घटिया गहरीकरण कार्य की लगातार मॉनिटरिंग करेंगे। कार्यपालन यंत्री बी. आर. उइके ने ने बताया कि पिछले वर्ष गंभीर बांध से लगभग 15 हजार क्यूबिक मीटर मिट्टी निकाली गई थी। इस वर्ष भी इतनी ही गाद मिट्टी निकाली जाएगी। गुरुवार को अंबोदिया में जिला पंचायत सीईओ मृणाल मीणा द्वारा विधिवत पूजा अर्चना कर कार्य प्रारंभ करवाया गया है। इस अवसर पर कार्यपालन यंत्री जल संसाधन विभाग मयंक सिंह, कार्यपालन यंत्री लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग बी. आर. उईके, एसडीएम घटिया राजाराम करजरे, जनपद सीईओ गुमनाम सिंह सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
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