नई दिल्ली। 26 जनवरी को दिल्ली में ट्रैक्टर रैली में हुई हिंसा के मास्टरमाइंड और एक लाख रुपए के इनामी दीप सिद्धू की तलाश में दिल्ली पुलिस क्राइम ब्रांच की टीमें पंजाब के कई शहरों में छापेमारी कर रही है। लेकिन, दीप सिद्दू अभी तक पुलिस की गिरफ्त से बाहर है। क्राइम ब्रांच की कई टीम ना सिर्फ पंजाब में उसके संभावित ठिकानों पर रेड रही है बल्कि टेक्निकल सर्विलांस के जरिए उसे ट्रैक करने की कोशिश भी कर रही हैं।
दीप सिद्धू के बारे में पुलिस को जांच के दौरान एक चौंकाने वाली जानकारी हाथ लगी है। फरारी के दौरान दीप सिद्धू अपने जो वीडियो फेसबुक पर अपलोड करता है, वो उन्हें बनाता तो हिंदुस्तान में बैठकर है, लेकिन फेसबुक पर अपलोड विदेश से की जाती है। दीप सिद्धू के वीडियो, उसकी बेहद करीबी महिला मित्र अपलोड करती है। इसके पीछे सिद्धू की चाल जांच एजेंसियों को भटकाने की है दीप सिद्धू एक पेशेवर अपराधी की तरह पुलिस के साथ-साथ होली का खेल खेल रहा है।
दीप सिद्धू कई बार पुलिस के हाथ से फिसला है। कई मौके ऐसे थे, जब दीप सिद्धू के बारे में क्राइम ब्रांच की टीम को सटीक जानकारी मिली, लेकिन वहां पहुंचने से पहले ही क्राइम ब्रांच की गाड़ियों के नंबर उसको लीक हो जाते थे, जिसके बाद सिद्धू पुलिस के पहुंचते ही वहां से फरार हो जाता था। पंजाबी एक्टर दीप सिद्धू 26 जनवरी को लाल किले में हुई हिंसा में शामिल था, उपद्रव के बाद से दीप सिद्धू अंडरग्राउंड है।
26 जनवरी को लाल किले पर झंडा फहराए जाने के बाद फेसबुक पर एक वीडियो में स्वीकार किया था कि उन्होंने और उनके साथियों ने निशान साहिब और किसान मजदूर एकता के दो झंडे लहराए थे। हालांकि उसने यह भी कहा कि दिल्ली में दाखिल होने वाले सभी किसानों को उन्होंने नहीं भड़काया है। 26 जनवरी को ट्रैक्टर मार्च के दौरान हुई हिंसा की जांच के लिए दिल्ली पुलिस की विशेष जांच टीम बनाई गई है। इस SIT की अध्यक्षता जाइंट कमिश्नर बीके सिंह और तीन डीसीपी कर रहे हैं। इसमें जॉय टिर्की, भीष्म सिंह और मोनिका भारद्वाज शामिल हैं। 26 जनवरी को हुई हिंसा में दिल्ली पुलिस के 394 कर्मी घायल हुए थे और 30 पुलिस वाहनों को नुकसान पहुंचा था।
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