उज्जैन। विनोद मिल की जमीन पर बने सरकारी स्कूल की जमीन को भी राजस्व विभाग अधिग्रहित करना चाहता है। इसके लिए शिक्षा विभाग से सहमति माँगी गई है। शिक्षा विभाग ने भी जवाब में सहमति जताते हुए शर्त रखी है कि उन्हें स्कूल के विस्थापन और नए भवन के लिए शासन इतनी जमीन कहीं और उपलब्ध कराए। उल्लेखनीय है कि विनोद मिल की जमीन बेचकर सरकार मिल मजदूरों का बकाया भुगतान करने जा रही है। शासन द्वारा विनोद मिल की जमीन को अलग-अलग भागों में नीलाम कराया जा रहा है। विनोद मिल की चाल में मिल की जमीन पर सवा एकड़ के दायरे में शासकीय हाईस्कूल दौलतगंज क्रमांक 1 का भवन बना हुआ है।
हाल ही में राजस्व विभाग ने इस स्कूल की सवा एकड़ जमीन को अधिग्रहित करने के लिए शिक्षा विभाग को पत्र लिखकर अनुमति मांगी है। इस पर शिक्षा विभाग की ओर जवाब भी दे दिया गया है। जवाब में कहा गया है कि शासन अगर दौलतगंज हाईस्कूल क्रमांक 1 की जमीन अधिग्रहित करना चाहता है तो शिक्षा विभाग को यहाँ से विद्यालय विस्थापित कर नया भवन बनाने के लिए इतनी ही जमीन की आवश्यकता होगी। शासन अगर यह जमीन उपलब्ध कराता है तो शिक्षा विभाग को राजस्व विभाग के स्कूल की जमीन के अधिग्रहण पर कोई आपत्ति नहीं हैं। इस बारे में अतिरिक्त जिला शिक्षा समन्वयक गिरीश तिवारी ने बताया कि राजस्व विभाग की ओर से उक्त स्कूल की भूमि के अधिग्रहण की अनुमति शिक्षा विभाग से माँगी गई है। जिसके जवाब में राजस्व विभाग से कहा गया है कि स्कूल की जमीन के अधिग्रहण के लिए शिक्षा विभाग तैयार है लेकिन इसके लिए शिक्षा विभाग को शासन-प्रशासन से स्कूल के विस्थापन और भवन निर्माण के लिए इतनी ही जमीन कहीं और उपलब्ध कराना होगी।
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