नई दिल्ली: रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Russian President Vladimir Putin) पिछले 23 वर्षों में सत्ता पर अपनी पकड़ बनाए हुए हैं. लेकिन इन दिनों सबसे गंभीर खतरे का सामना (face grave danger) कर रहे हैं. वैगनर ग्रुप (Wagner Group) के विद्रोह के बाद पुतिन (Putin) के सामने बड़ी चुनौती खड़ी हो गई है. पश्चिमी मीडिया ने कहा है कि रूस के लिए अगले आने वाले एक दो दिन बेहद महत्वपूर्ण हैं. विद्रोही वैगनर ग्रुप (Rebel Wagner Group) की ओर से दो शहरों पर कब्जा और आगे कूच करने के दावों से मॉस्को (Moscow) पर बढ़ रहे खतरे पर पुतिन ने रूस की सेना को विद्रोहियों पर सख्त कार्रवाई का आदेश दिया है. सीएनएन के मुताबिक, पुतिन के लिए अगले 24 घंटे अहम हो सकते हैं. वहीं, वैगनर ग्रुप के विद्रोह की यह खबर यूक्रेन के लिए किसी राहत से कम नहीं है.
बगावत के बाद अब वैगनर ग्रुप रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के निशाने पर है. न्यूज वेबसाइट फॉन्टंका के मुताबिक सेंट पीटर्सबर्ग स्थित वैगनर ग्रुप के ऑफिस पर रेड डाली गई है. रूसी नेशनल गार्ड की 2 बसें ऑफिस के बाहर पहुंची हैं. लोग सिविल ड्रेस में कंपनी के मुख्यालय में रेड डाल रहे हैं.
रेड डालने वाले जवान मास्क पहने हैं और आधुनिक हथियारों से लैस हैं. सेंट पीटर्सबर्ग में पहले ये ब्लागोवेशचेंस्की पुल के पास तैनात थे. वैगनर ग्रुप के चीफ येवगेनी प्रिगोजिन के स्वामित्व वाला एक होटल और रेस्टोरेंट यहां बना हुआ है. वैगनर मुख्यालय में लॉ एनफोर्सिंग एजेंसी के जवान दाखिल हो रहे हैं. वैगनर ग्रुप से जुड़े दस्तावेजों को जवान खंगाल रहे हैं. वैगनर के संस्थापक का नाम येवगेनी प्रिगोजिन है, जिन्होंने साल 2014 में वैगनर ग्रुप की स्थापना की थी. यह एक प्राइवेट आर्मी थी, जिसके रूस की रक्षा के लिए बनाया गया था. अब यही आर्मी रूस के लिए काल बन रही है.
वैगनर ग्रुप को कभी रूस का रक्षा स्तंभ बताने वाली कंपनी इतनी बगावती हो गई है कि अब खुद रूसी राष्ट्रपति की मुश्किलें बढ़ गई हैं. रूस की सरकार ने उन्हें देशभक्त नागरिक बता चुकी है. येवगेनी के शहर सेंट पीटर्सबर्ग में एक वैगनर सेंटर खुला लेकिन अब यही चीजें रूस के लिए मुश्किलें पैदा कर रही हैं.
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