नोटिस पर दिए गए जवाबों के लिए बयान… घर से मिले कागजातों पर सवाल-जवाब
इंदौर। ईडी (ED) की पूछताछ को लेकर कांग्रेस नेता (Congress leader) और जमीनी कारोबारी सुरेन्द्र संघवी (Surendra Sanghvi) खुद हैरान है। उनका कहना है कि सिम्प्लेक्स (Simplex) की जमीन खरीदी ( land purchase) के मामले में पुलिस प्रकरण कायम कर चुकी है। मामला अदालत (court) में विचाराधीन है। पुलिस द्वारा ईडी को जांच के लिए लिखे गए पत्र के आधार पर ईडी के नोटिसों का जो जवाब दिया गया था उसी संदर्भ में टीम ने कल लंबी पूछताछ की। सर्च के दौरान ईडी ने संघवी परिवार के घर से मिले कागजातों पर भी पूछताछ की और बयान दर्ज कर टीम लौट गई। इसी तरह उद्योगपति और रियल इस्टेट कारोबारी मनीष शाहरा (Manish Shahra) से भी दीपक मद्दा (Deepak Madda) के साथ हुए लेनदेन को लेकर बयान लिए गए।
कल कांग्रेस नेता सुरेन्द्र संघवी के घर पहुंची ईडी की टीम को लेकर रियल इस्टेट कारोबारियों (real estate traders) में जहां खलबली मची हुई थी, वहीं यह छापा चर्चा का विषय बना हुआ था और आज भी हिरासत और गिरफ्तारी की अफवाहें चलती रहीं, लेकिन ईडी ने छापे के दौरान पहले से चल रही जांच पर जारी नोटिसों के संदंर्भ में बयान लेने की प्रक्रिया को पूरा किया। इसी के साथ उद्योगपति और रियल इस्टेट कारोबारी मनीष शाहरा के घर भी पहुंची थी, जहां मनीष शाहरा द्वारा दीपक मद्दे से किए गए लेन-देन के बारे में पूछताछ की गई। शाहरा ने दीपक मद्दे के साथ संस्था की एक जमीन को लेकर लेनदेन किया था। इस संदंर्भ में मनीष शाहरा ने ईडी को बताया कि उन्होंने एक डेवलपमेंट एग्रीमेंट किया था, जिसके तहत डिपाजिट मनी के रूप में चैक से भुगतान किया गया। चूंकि उक्त जमीन अब प्रशासन द्वारा जब्त कर ली गई और रकम वापसी की संभावनाएं भी क्षीण है, इसलिए उक्त रकम को खातों में डूबत राशि के रूप में समायोजित कर लिया गया है। शाहरा पहले भी इस संदर्भ में लिखित जानकारी दे चुके थे, जिसकी पुष्टि के लिए ईडी की टीम ने प्रमाण हासिल किए।
जमीन खरीदी के पैसे चेक से दिए: संघवी
ईडी की पूछताछ पर जमीनी कारोबारी सुरेन्द्र संघवी का कहना है कि उनकी कंपनी ने खरीदी गई जमीन के पैसे चेक से दिए। इसलिए किसी नकदी लेनदेन या हवाला कारोबार का कोई सवाल ही नहीं उठता। इस संदर्भ में पुलिस के दबाव में ईडी के हर प्रश्नों का संतुष्टिपूर्ण जवाब दिया गया। उन्होंने कहा कि ईडी द्वारा सामान्य रूप से हवाला कारोबार से संबंधित मामलों पर कार्रवाई की जाती है, जिसका कोई आरोप उन पर नहीं है। न ही किसी की गिरफ्तारी हुई है।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved