भोपाल। मप्र में जैसे-जैसे चुनाव नजदीक आता जा रहा है, टिकट के दावेदारों की दौड़ तेज होती जा रही है। खासकर कांग्रेस के नेता टिकट के लिए सबसे अधिक मारामारी कर रहे हैं। टिकट के दावेदार भोपाल से लेकर दिल्ली तक दौड़ लगा रहे हैं। जिस समय नेताओं को अपने क्षेत्र में होना चाहिए तब अधिकांश नेता भोपाल या दिल्ली की दौड़ लगा रहे हैं। इसको देखते हुए कांग्रेस आलाकमान ने नेताओं को हिदायत दी है कि वे अपने क्षेत्र में चुनाव पर फोकस करें। दरअसल, दिल्ली में मप्र के नेता डेरा डाले हुए हैं, जहां एआईसीसी में राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े, केसी वेणुगोपाल और प्रदेश प्रभारी जेपी अग्रवाल से कांग्रेस के 24 अकबर रोड दफ्तर में मिल रहे हैं, लेकिन दिल्ली के नेता मुलाकात करने वालों से दिल्ली दौड़ के बजाए चुनाव पर फोकस करने को कह रहे हैं। नई दिल्ली में पूर्व प्रदेश अध्यक्ष अरुण यादव पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष खडग़े से मिले और प्रदेश के राजनीतिक हालातों पर चर्चा की। खडग़े ने यादव से चुनाव पर फोकस करने को कहा है। पूर्व मंत्री कमलेश्वर पटेल भी दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं, जहां वे बड़े नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं।
जिलाध्यक्षों का मामला दिल्ली पहुंचा
वहीं इंदौर, भोपाल और खंडवा जिले के अध्यक्ष की नियुक्त का मामला दिल्ली पहुंच गया है। इन जिलों में जिलाध्यक्षों की नियुक्ति संबंधी मामले को केसी वेणुगोपाल को सौंप दिया गया है, जो जल्द ही निर्णय लेंगे। भोपाल जिलाध्यक्ष के मामले में सभी पहलुओं पर विचार किया जा रहा है, ताकि पार्टी का कोई भी निर्णय निकट में विधानसभा चुनावों पर न पड़े।
चुनावी तैयारी में जुटी राहुल की टीम
पिछले महीने दिल्ली में राहुल गांधी ने मप्र के सभी बड़े नेताओं को इंटरनल रिपोर्ट के आधार पर चौंका दिया था कि मौजूदा विधायकों में से 30 विधायक चुनाव हार रहे हैं, जिन्हें अपनी विधानसभा में फोकस करना होगा, तभी अपनी सीट बचा पाएंगे। उसी दिन राहुल मप्र में इंटरनल असिस्मेंट के आधार पर 150 सीटें जीतने की बात कह चुके हैं। इसके साथ ही केंद्रीय पर्यवेक्षकों की टीम पिछले पांच चुनावों में लगातार हार वाली सीटों पर पहुंच रही है, जहां से उम्मीदवारों के बायोडेटा लिए जा रहे हैं। कर्नाटक में जीत के बाद विधानसभा चुनाव के पांच महीने पहले राहुल गांधी की टीम ने मप्र में मोर्चा संभाल लिया है। टीम के सदस्य प्रदेश की 230 विधानसभा सीट में पहुंचकर लोगों की राय जानकर चुनावी रणनीति तैयार करने में जुट गए हैं। इसके साथ ही यह टीम जनता के बीच लोकप्रिय चेहरे जो टिकट के दावेदार हैं, उनके भी संपर्क में है। यह रिपोर्ट भी सीधे राहुल गांधी को सौंपी जाएगी। इस सर्वे रिपोर्ट के आधार पर ही मप्र में विधानसभा चुनाव की रणनीति और टिकट के बारे में तय होगा।
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