इंदौर। शहर में पुलिस कमिश्नरी (Police Commissionerate) लागू होने के बाद काफी स्टाफ को इंदौर में कर दिया गया, जिसके चलते अलग हुए देहात के 13 थाने आधे स्टाफ से चल रहे हैं। इसके कारण यहां लगातार वारदातें भी बढ़ रही हैं।
लगभग दो माह पहले शहर में पुलिस कमिश्नरी लागू की गई थी, जिसमें शहर के 34 थाने रखे गए थे। देहात के 13 थानों को अलग कर दिया गया था। यह एक अलग जिला बन गया है, जो रेंज के आईजी (IG of Joe Range) के अंडर में है, जबकि शहर के थाने कमिश्नर के अधीन हैं। इस दौरान बल बढ़ाने के लिए देहात थानों (countryside stations) में पदस्थ काफी स्टाफ इंदौर को दे दिया गया। बताते हैं कि देहात के ज्यादातर थाने आधे स्टाफ से चल रहे हैं, जबकि इंदौर जिले (Indore District) में पदस्थ कई लोगों का जिला बदल गया है।
अब उन्हें इंदौर आने के लिए भोपाल से अपना स्थानांतरण (Transfer from Bhopal) करवाना पड़ेगा, जबकि पहले जिले के लिए आईजी या डीआईजी स्तर पर ही स्थानांतरण हो जाता था। कई लोग अब वापस इंदौर शहर में ट्रांसफर करवाने में लगे हैं। इसके चलते देहात के थानों का हाल बुरा है। यहां लगातार वारदातें बढ़ रही हैं। सरकार स्तर का मामला होने से वरिष्ठ अधिकारी इस मामले में कुछ नहीं बोल रहे हैं, लेकिन छोटे स्तर के अधिकारी स्टाफ की कमी को लेकर परेशान हैं।
हत्या, लूट, डकैती जैसे गंभीर अपराध बढ़े
देहात क्षेत्र में कुछ समय पहले बडग़ोंदा क्षेत्र में एक पुलिसकर्मी पर हमला कर राइफल लूट (Rifle Robbery) ली गई थी। हालांकि इस मामले में एक आरोपी को पकडक़र पुलिस ने राइफल जब्त कर ली। इसके अलावा बेटमा और सांवेर में डकैती की घटनाएं हुईं। खुड़ैल, देपालपुर सहित कई थाना क्षेत्रों में हत्या की घटनाएं हुईं। दो दिन पहले सिमरोल में बस से एक ज्वेलर्स का दो किलो सोने से भरा बैग उड़ा दिया गया। बेटमा में एटीएम में चोरी के दौरान आग लगने से आठ लाख रुपए जल गए थे। हालांकि पुलिस ने इस मामले में मेवाती गैंग को पकड़ लिया। इसके अलावा देहात में बनी टाउनशिप में लगातार चोरियां हो रही हैं।
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