उज्जैन। गंभीर बाँध सहित ग्रामीण क्षेत्रों के तालाबों का गहरीकरण का काम शुरू हो चुका है और यह पिछले कुछ दिनों से चल रहा है। आज शनिवार सुबह कलेक्टर नीरजकुमार सिंह अधीनस्थ अधिकारियों के साथ गंभीर डेम तथा अन्य जल स्त्रोतों के गहरीकरण का कार्य देखने पहुँचे। इस दौरान उन्होंने दो ग्रामीण क्षेत्रों में गहरीकरण के काम में लापरवाही पाई। इस पर उन्होंने इंजिनीयर को नोटिस जारी करने के निर्देश दिये।
उल्लेखनीय है कि जिले में जल स्रोतों के संरक्षण के लिए तालाबों के गहरीकरण का कार्य चल रहा है। इसमें गंभीर बाँध के साथ-साथ आसपास और ग्रामीण इलाकों के जल स्त्रोतों और तालाबों को भी गहरा किया जा रहा है। शनिवार सुबह कलेक्टर नीरज कुमार सिंह ने उज्जैन ग्रामीण क्षेत्रों में आने वाले तालाबों का निरीक्षण करने पहुँच गए। उनके सीईओ जिला पंचायत मृणाल मीना, एसडीएम उज्जैन दक्षिण अर्थ जैन एवं अन्य अधिकारी भी मौजूद थे। इस दौरान सबसे पहले कलेक्टर ने उमरिया, खालसा तालाब के गहरीकरण कार्य देखा। यहाँ उन्होंने गहरीकरण का काम अव्यवस्थित पाया। जिस पर उन्होंने इंजीनियर और एसडीएम को तकनीकी रूप से व्यवस्थित गहरीकरण करने के निर्देश दिए। उन्होंने यहाँ ग्रामीणों से भी चर्चा कर गहरीकरण से निकली मिट्टी के उपयोग के बारे में जानकारी ली जिसमें ग्रामीणों द्वारा बताया गया है कि उनके द्वारा मिट्टी का उपयोग अपने खेतों में किया जा रहा है। इसके बाद कलेक्टर ग्राम नलवा स्थित तालाब का निरीक्षण करने पहुँचे। यहाँ उन्होंने निर्धारित मानक ३० मीटर की दूरी का पालन नहीं करते हुए गहरीकरण किए जाने पर संबंधित इंजीनियर को नोटिस देने के निर्देश दिए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जल स्रोतों के गहरीकरण कार्य की सतत मॉनिटरिंग की जाए।
गंभीर डेम एरिया को पिकनिक स्पाट बनाएं
कलेक्टर श्री सिंह ने आज सुबह अंबोदिया स्थित गंभीर बांध के गहरीकरण कार्य का भी देखा। यहाँ उन्होंने गंभीर बांध पर पौधरोपण कराने के निर्देश दिए और इसमें वन विभाग का सहयोग लेने के लिए कहा। कलेक्टर ने गंभीर बांध पहुँच मार्ग की खराब हालत पर चिंता जताते हुए इसे व्यवस्थित कर सुधारने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि गंभीर बांध को टूरिस्ट स्पॉट के रूप में डेवलप कराएं। जिससे गंभीर बांध घूमने आने वाले लोगों को अच्छा वातावरण मिल सकें। इस दौरान कलेक्टर ने सेवाधाम आश्रम के सुधीर गोयल से भी गंभीर बांध के गहरीकरण और पौधारोपण के संबंध चर्चा की। निरीक्षण के दौरान कलेक्टर ने उपस्थित ग्रामीणों से चर्चा कर उन्हें ५ जून से शुरू होने वाले जल स्रोतों के संरक्षण और पुनर्जीवन के अभियान के संबंध में विस्तार से जानकारी दी और
अभियान से जुडऩे के लिए प्रेरित किया।
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