दमोह: एक तरफ जहां देश भर में जैन तीर्थ क्षेत्र सम्मेद शिखर (Jain Pilgrimage Area Sammed Shikhar) को पर्यटन क्षेत्र घोषित करने का विरोध चल रहा है. वहीं मध्यप्रदेश में सरकार जैन तीर्थ क्षेत्रों को लेकर संवेदनशील है और मुख्यमंत्री (Chief Minister) के निर्देश के बाद इन क्षेत्रों की सुचिता का ध्यान रखा जा रहा है. ऐसा ही कुछ दमोह (Damoh) जिले में देखने को मिल रहा है.
दरअसल यहां के पटेरा ब्लॉक में स्थित देश दुनिया मे प्रसिद्ध जैन तीर्थ कुंडलपुर धाम (Famous Jain pilgrimage Kundalpur Dham) को मुख्यमंत्री ने पवित्र नगरी घोषित किया है और जैन धर्म की आस्था के अनुसार यहां मांसाहार वर्जित है. लिहाजा सरकार ने गाइड लाइन बनाकर कुंडलपुर सहित आसपास के चार किलोमीटर के एरिया में मांस की बिक्री वर्जित की है.
सीएम के आदेश के पालन में अब मांसाहारी दुकानों पर मामा का बुलडोजर चल रहा है. पटेरा में एक साथ दर्जनों दुकानों पर बुलडोजर चलाया गया तो दुकानें चला रहे लोगो ने विरोध भी किया. लेकिन प्रशासन ने विरोध को दरकिनार करते हुए सरकार के आदेश का पालन कराया. इस अभियान की प्रभारी इलाके की तहसीलदार जानकी ऊइके के मुताबिक अभी मांसाहारी दुकानों को अलग किया गया है. अब नियमानुसार यहां की शराब दुकानों को भी हटाया जाएगा.
दरअसल, झारखंड के गिरिडीह स्थित सम्मेद शिखर जी को पर्यटन स्थल बनाए जाने की घोषणा होने के बाद से कई शहरों में इसका विरोध किया जा रहा है. देशभर में विरोध प्रदर्शन हो कहा है. मध्य प्रदेश में भी कई जगह जैन समाज सड़कों पर उतर आया है. आज इंदौर, भोपाल, उज्जैन, सागर, नर्मदापुरम, सहित प्रदेश के कई शहरों में दुकानें बंद कर विरोध दर्ज करवाया. जैन समाज की दुकानें पूरे दिन बन्द रहीं. भोपाल के न्यू मार्केट व्यापारी महासंघ ,चेंबर ऑफ कॉमर्स समेत अन्य संगठनों ने इसे समर्थन दिया है.
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