नई दिल्ली । विदेश मंत्री एस. जयशंकर (Foreign Minister S. Jaishankar) ने कहा कि जलवायु परिवर्तन (Climate Change) समूचे विश्व के लिए (For the entire World) एक बड़ी चुनौती है (Is a big Challenge) । इसके साथ ही इससे मिलकर लड़ने की अपील दुनिया से की है। उन्होंने कहा कि जलवायु परिवर्तन, प्राकृतिक आपदाएं, गरीबी उन्मूलन और स्वास्थ्य सेवा बड़ी चुनौतियां हैं, जिनका हमें मिलकर समाधान करना होगा।
उन्होंने मार्शल द्वीप समूह के साथ हुए समझौते पर एक बयान जारी किया। विदेश मंत्री जयशंकर ने अपने एक्स अकाउंट पर एक वीडियो पोस्ट किया। कहा, “मार्शल द्वीप समूह गणराज्य के साथ चार सामुदायिक विकास परियोजनाओं के लिए वार्षिक अनुदान सहायता संबंधित समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर के अवसर पर यह संदेश देना मेरे लिए खुशी की बात है। भारत के लोगों की ओर से मैं पिछले महीने मार्शल द्वीप में संपन्न हुए 10वें माइक्रोनेशन गेम्स के सफल आयोजन के लिए बधाई देना चाहता हूं।”
विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि पिछले महीने जून में 10वां अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया गया। मैं माजुरो में आयोजित समारोह की अध्यक्षता करने के लिए मार्शल द्वीप की राष्ट्रपति डॉ. हिल्डा हैन को धन्यवाद देता हूं। भारत और मार्शल द्वीप गणराज्य के बीच मैत्रीपूर्ण द्विपक्षीय संबंधों का एक लंबा इतिहास रहा है, जो पिछले कुछ वर्षों में भारत-प्रशांत द्वीप सहयोग मंच के सहयोग से और भी मजबूत हुआ है।
उन्होंने कहा कि मैं याद दिलाना चाहूंगा कि भारत के प्रधानमंत्री मोदी ने तीसरे एफआईपीईसी शिखर सम्मेलन में क्या कहा था। प्रशांत महासागर में स्थित द्वीप छोटे द्वीप नहीं हैं, बल्कि ये बड़े महासागरीय देश हैं। हम सतत विकास की खोज में प्रशांत महासागर के द्वीपों का समर्थन करने को अपनी जिम्मेदारी समझते हैं। जलवायु परिवर्तन, प्राकृतिक आपदाएं, गरीबी उन्मूलन और स्वास्थ्य सेवा बड़ी चुनौतियां हैं, जिनका हमें मिलकर समाधान करना होगा।
उन्होंने आगे कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने प्रशांत द्वीप समूह के लिए अपनी प्रतिबद्धता की घोषणा की। उन्हें हासिल करने में हुई प्रगति को देखकर मुझे खुशी हो रही है। हम मार्शल द्वीप समूह गणराज्य के लिए डिसैलिनेशन इकाइयों और डायलिसिस मशीनों के प्रस्तावों पर भी काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमारा मानना है कि आज के समझौता ज्ञापन से चार सामुदायिक विकास परियोजनाओं के कार्यान्वयन में मदद मिलेगी। मुझे खुशी है कि इन परियोजनाओं में अहलुक एटोल में सामुदायिक खेल केंद्र, माजिद द्वीप पर हवाई अड्डा टर्मिनल, अर्नो और बोटेई एटोल में सामुदायिक केंद्र शामिल हैं। ये निश्चित रूप से मार्शल द्वीप के लोगों को बेहतर बुनियादी ढांचा प्रदान करेंगे। भारत अपने इंडो-पैसिफिक भागीदारों के साथ और अधिक काम करने के लिए हमेशा तैयार है।
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