बीजिंग। दुनिया पर राज करने के मंसूबे पालने वाले चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग(Chinese President Xi Jinping) ने देश में अपनी पकड़ को और मजबूत कर लिया है। चीन की कम्युनिस्ट पार्टी (Communist Party of China) ने एक ऐतिहासिक प्रस्ताव को पारित(historic resolution passed) कर दिया है। इस प्रस्ताव से न केवल शी जिनपिंग(Xi Jinping) के तीसरे कार्यकाल का रास्ता साफ(Clear the way for the third term) हो गया है, बल्कि उनका रुतबा भी बढ़ गया है। यही नहीं अब शी जिनपिंग (Xi Jinping) तीसरे कार्यकाल के बाद भी सत्ता में बने रहने के हकदार हो गए हैं। इस तरह से शी जिनपिंग (Xi Jinping) अब अपने पूर्ववर्ती माओत्से तुंग (Mao Zedong) और देंग जियाओपिंग(Deng Xiaoping) की राह पर आगे बढ़ते दिख रहे हैं।
कम्युनिस्ट पार्टी के छठे पूर्ण अधिवेशन में शी जिनपिंग से जुड़े प्रस्ताव को पारित किया गया है। चीनी कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीसी) की उच्च स्तरीय बैठक में पार्टी के गत 100 साल की अहम उपलब्धियों को लेकर यह ‘ ऐतिहासिक प्रस्ताव’ पारित किया गया। इसके साथ ही अगले साल राष्ट्रपति शी जिनपिंग के रेकॉर्ड तीसरे कार्यकाल बल्कि उसके आगे के लिए भी रास्ता साफ कर दिया गया है। पार्टी की 19वीं केंद्रीय समिति का छठा पूर्ण अधिवेशन आठ से 11 नवंबर को राजधानी बीजिंग में आयोजित किया गया।
शी माओ के बाद यह दर्जा पाने वाले पहले नेता
जिनपिंग को 2016 में पार्टी के ‘केंद्रीय नेता’ का दर्जा दिया गया था जो माओ के बाद यह दर्जा पाने वाले पहले नेता हैं। शी का चीन की सत्ता के तीनों केंद्रों – सीपीसी के महासचिव, शक्तिशाली केंद्रीय सैन्य आयोग (सीएमसी) के अध्यक्ष जो सभी सैन्य कमानों को देखती है और राष्ट्रपति- पर कब्जा है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस अधिवेशन से शी की ताकत और बढ़ी है। चीन की समसामयिकी पर आधारित अखबार चाइना नेइकेन के संपादक एडम नी ने बीबीसी से कहा, ‘वह चीन की राष्ट्रीय यात्रा में खुद को नायक के रूप में स्थापित करने की कोशिश कर रहे हैं। इस ऐतिहासिक प्रस्ताव के जरिये वह खुद को पार्टी और आधुनिक चीन के कथानक के केंद्र में रख दिया है। शी अपनी ताकत प्रदर्शित कर रहे हैं। लेकिन दस्तावेज भी सत्ता को कायम रखने का हथियार है।’
नैशनल यूनिवर्सिटी ऑफ सिंगापुर के डॉ. चोंग जा इयान ने कहा कि नवीनतम घटना ने शी को चीन के अन्य पूर्ववर्ती नेताओं से अलग करता है। उन्होंने कहा, ‘(पूर्व नेताओं) हू जिंताओं और जियांग जेमिन ने कभी इतने अधिकार को केंद्रित नहीं किया था जितना शी ने किया है। संभव है कि यह मौजूदा समय में शी के व्यक्तिगत पहल पर हुआ है। वह अधिक संस्थागत जैसा है जो लोग इस समय देख रहे हैं।’ बृहस्पतिवार के प्रस्ताव के बाद उनकी ताकत को लेकर कोई शंका नहीं बची है और कामरेड शी का दर्जा केंद्रीय समिति और पार्टी में ‘केंद्र’ का दिया गया है।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved