नई दिल्ली । सीजेआई डी. वाई. चंद्रचूड़ (CJI D.Y. Chandrachud) महुआ मोइत्रा की याचिका (Mahua Moitra’s Petition) को तत्काल सूचीबद्ध करने (Urgent Listing) पर विचार करने पर सहमत हो गए (Agreed to Consider) । भारत के प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) डी. वाई चंद्रचूड़ ने बुधवार को लोकसभा से अपने निष्कासन के खिलाफ तृणमूल कांग्रेस नेता महुआ मोइत्रा द्वारा दायर याचिका को तत्काल सूचीबद्ध करने पर विचार करने पर सहमति व्यक्त की है।
महुआ मोइत्रा की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी से सीजेआई चंद्रचूड़ ने कहा कि कृपया एक ईमेल भेजें। मैं इस पर तुरंत गौर करूंगा। सिंघवी ने मामले को तत्काल सूचीबद्ध करने के लिए निर्देश देने की मांग की थी। इससे पहले दिन में सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ न्यायाधीश न्यायमूर्ति एस.के. कौल ने याचिका को सूचीबद्ध करने के संबंध में कोई भी निर्देश पारित करने से इनकार कर दिया था, और सिंघवी से संविधान पीठ की सुनवाई खत्म होने के बाद मुख्य न्यायाधीश के समक्ष मामले का जिक्र करने को कहा।
महुआ मोइत्रा ने 8 दिसंबर को संसद के निचले सदन से अपने निष्कासन को चुनौती देते हुए संविधान के अनुच्छेद-32 के तहत सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। पश्चिम बंगाल के कृष्णानगर संसदीय क्षेत्र से लोकसभा चुनाव जीतने वाली महुआ ने याचिका में अपने निष्कासन के फैसले को “अनुचित, अन्यायपूर्ण और मनमाना” बताया है। उनके खिलाफ यह कार्रवाई संसद के सवालों के बदले नकद देने के आरोप में आचार समिति की जांच के बाद की गई थी।
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