नई दिल्ली। इनकम टैक्स विभाग (income tax department) के केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने ऑनलाइन गेमिंग कंपनियों (online gaming companies) को गेमिंग (gaming) में पैसा जीतने को लेकर नए टैक्स नियम लागू (tax rules apply) करने के निर्देश दिए हैं। बोर्ड ने अपने निर्देश में कहा कि ऑनलाइन गेम में प्राइज मनी (prize money in online games) 100 रुपये से कम रहने पर गेमिंग प्लेटफार्म को स्रोत पर टैक्स कटौती (टीडीएस) की जरूरत नहीं है। साथ ही ऑनलाइन गेमिंग में जीती गई राशि की गणना, कुल जमा राशि को घटाने के बाद की जाएगी। बता दें कि फिलहाल ऑनलाइन गेमिंग प्लेटफॉर्म पर एक प्लेयर से नेट विनिंग का 30 प्रतिशत टैक्स लगाया जाता है।
बोर्ड ने अपने निर्देश में कहा कि हालांकि, बोनस या प्रोत्साहन पर टैक्स नहीं लगेगा अगर उनका दावा नहीं किया जाता है या वापस नहीं लिया जाता है। वहीं नेट विनिंग की गणना अकाउंट में जमा की कुल राशि और वर्ष की शुरुआत में शेष राशि से ग्राहक द्वारा निकाली गई राशि को घटाकर की जाएगी।
सरकार ने ऑनलाइन गेमिंग टैक्स में संशोधन कर दिया है और इसे 1 जुलाई 2023 से लागू किया जाएगा। सरकार ने इसके लिए आयकर नियम, 1962 में संशोधन कर नई धारा 194 बीए को शामिल किया है। दरअसल, पिछले कुछ समय से ऑनलाइन गेम काफी पॉपुलर हैं और प्लेयर्स इनसे मोटी कमाई भी करते हैं। यानी सरकार इसे पूरी तरह से इनकम टैक्स के दायरे में लाना चाहती है। बता दें कि इससे पहले दिसंबर 2022 में, यह बताया गया था कि राज्यों के वित्त मंत्रियों के एक पैनल ने अभी तक फलते-फूलते ऑनलाइन गेमिंग क्षेत्र के कराधान पर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं की है, जो कि लेवी कैसे लगाई जानी चाहिए, इस पर अंतिम निर्णय के लिए महत्वपूर्ण है।
इन सब के बीच गेमिंग यूजर्स के लिए राहत भी दी गई है। यूजर्स के एक महीने में 100 रुपये से कम की राशि जीतने पर टैक्स नहीं लिया जाएगा। साथ ही कंपनी द्वारा दिए गए बोनस या रेफरल द्वारा दिए गए पैसे पर तब तक कोई टैक्स नहीं देना होगा जब तक की प्लेयर्स उसे गेम में लगाना जारी रखता है और उसे बाहर नहीं निकालता है। वहीं यूजर्स के गेम के लिए जमा किए गए पैसे पर भी टैक्स नहीं लगेगा।
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