भोपाल। विधानसभा उपचुनाव लडऩे वाले हर उम्मीदवार द्वारा किए जा रहे खर्च पर आयोग की निगाह है। इसके लिए एफएसटी, एसएसटी, वीएसटी, वीवीटी एवं एमसीएमसी के तहत गठित मीडिया अनुवीक्षण कक्ष के माध्यम से राजनीतिक दलों एवं प्रत्याशियों द्वारा किए जा रहे चुनावी खर्चे पर नजर रखी जा रही है ,साथ ही सभी कलेक्ट्रेट में व्यय लेखा कार्यालय स्थापित किया गया है। इसमें हर प्रत्याशी को निर्वाचन व्यय लेखा प्रस्तुत करना होगा। हर प्रत्याशी को चुनावी खर्चे की पाई पाई का हिसाब देना होगा। प्रदेश की 28 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों में चुनावी व्यय पर नजर रखने के लिए निर्वाचन व्यय निगरानी समिति का गठन किया गया है। चुनाव वाले सभी जिलों में एक रिजर्व दल भी गठित किया गया है। भारत निर्वाचन अयोग द्वारा नियुक्त व्यय प्रेक्षक द्वारा भी व्यय लेखा कार्यालय का निरीक्षण किया जा चुका है।
वोटिंग के लिए 28 विधानसभा क्षेत्रों में रहेगा अवकाश
मध्यप्रदेश की 28 विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव के लिए 3 नवंबर को वोटिंग होनी है। राज्य शासन द्वारा 3 नवंबर को उप चुनाव वाले क्षेत्रों में सार्वजनिक और सामान्य अवकाश घोषित किया गया है। बता दें कि प्रदेश के 19 जिलों की 28 सीटों पर वोटिंग होनी है।
इन सीटों पर वोटिंग
सुमावली, मुरैना, दिमनी, अंबाह, मेहगांव, गोहद, ग्वालियर, ग्वालियर पूर्व, डबरा, भांडेर, करैरा, पोहरी, बामोरी, अशोकनगर, मुंगावली, सुरखी, सांची, अनूपपुर, सांवेर, हाटपिपल्या, सुवासरा, बदनावर, आगर-मालवा, जौरा, नेपानगर, मलहारा, मंधाता और ब्यावरा में उपचुनाव हैं। इन सभी क्षेत्रों में तीन नवंबर को राज्य सरकार ने सार्वजनिक और सामान्य अवकाश घोषित किया है।
वोटिंग पर फोकस
कोरोना काल में हो रहे उपचुनाव में में चुनाव आयोग के सामने सबसे बड़ी चुनौती वोटिंग प्रतिशत बढ़ाने की है। जिन 28 विधानसभा सीटों पर वोटिंग होनी है उन जिलों में भी कोरोना संक्रमण के मामले हैं ऐसे में इन जिलों में तीन नवंबर को अवकाश रहेगा जिससे लोग वोटिंग करने आ सकें। 28 विधानसभा क्षेत्रों में विभिन्न स्वीप (सुव्यवस्थित मतदाता शिक्षा एवं निर्वाचक सहभागिता कार्यक्रम) गतिविधियों के माध्यम से मतदाताओं को मतदान के लिये प्रेरित किया जा रहा है। उप चुनाव वाले विधानसभा क्षेत्रों में कोविड-19 की गाइडलाइन का पालन करते हुए मतदाता जागरूकता के लिये विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है। संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी मोहित बुंदस ने बताया कि मतदाताओं को मतदान के लिये प्रेरित करने के उद्देश्य से जागरूकता रथों, लघु फिल्मों, दीवार लेखन, होर्डिंग्स, पोस्टर, बैनर आदि के द्वारा प्रचार कराया जा रहा है। ऑटो-रिक्शा के पीछे फ्लैक्स लगाकर भी मतदाताओं को मतदान करने के लिये जागरूकता संदेश दिया जा रहा है। मतदाताओं को कोरोना संक्रमण से बचकर किस प्रकार मतदान करना है। इस पर विशेष जोर दिया जा रहा। उप चुनाव वाले क्षेत्रों में स्वीप गतिविधियों अंतर्गत विभिन्न प्रतियोगिताएं भी आयोजित की जा रही हैं। जिला प्रशासन द्वारा नुक्कड़ नाटक, लोकगीत, रंगोली, मेंहदी प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जा रहा है। कलापथक दलों द्वारा मतदान का महत्व समझाया जा रहा है। मतदाता जागरूकता अभियान में एनसीसी, एनएसएस सहित विभिन्न संस्थाओं का सहयोग लिया जा रहा है।
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