वॉशिंगटन। कल्पना करिए, अगर आप एक वीरान इलाके में घूम रहे हैं और अचानक आपको एक हिलता हुआ पत्थर (moving stone) दिख जाए तो क्या होगा? यह कल्पना किसी को भी डरा सकती है। लेकिन अमेरिका के कैलिफोर्निया(California of America) में यह कल्पना सच साबित होती है। यहां एक बंजर जमीन (barren land) है जहां पत्थर एक जगह से दूसरी जगह अपने आप खिसकते हैं। यह दावा किया जा रहा है कि कैलिफोर्निया(California) के डेथ वैली नेशनल पार्क (Death Valley National Park) में एक सूखी झील रेसट्रैक प्लाया (Dry Lake Racetrack Playa) को लेकर।
यह झील उत्तर की ओर 2.5 मील और दक्षिण में 1.25 मील तक फैली हुई है। इसे लेकर चौंकाने वाला दावा यह है कि इसके पत्थर एक से दूसरी जगह खुद-ब-खुद खिसकते रहते हैं। लोगों और वैज्ञानिक समुदाय को जो चीज सबसे ज्यादा हैरान करती है, वह यह है कि इनमें कुछ पत्थरों का वजन 100 किग्रा से भी ज्यादा होता है। डेथ वैली के पत्थरों के पीछे के कारणों को जानने के लिए दुनिया भर की वैज्ञानिक टीमों की ओर से समय-समय पर कई रिसर्च किए गए हैं।
चुंबकीय भूमि पर खिसकते ‘लोहे’ के पत्थर
1900 में यह माना जाता था कि डेथ वैली में एलियंस का एक छिपा हुआ ठिकाना है और एलियंस के आने-जाने पर ही पत्थर खिसकते हैं। इस दौरान जारी एक वैज्ञानिक रिपोर्ट में कहा गया था कि हवा के प्रवाह की गति के कारण पत्थर स्थान बदलते हैं। हालांकि बाद में क्षेत्र की जांच करने वाले वैज्ञानिकों के एक समूह ने कहा कि पत्थर इसलिए खिसकते हैं क्योंकि झील के नीचे की भूमि चुंबकीय है और पत्थर में लौह अयस्क की मात्रा है।
नॉरिस ब्रदर्स ने किया रहस्य सुलझाने का दावा
वैज्ञानिकों के एक समूह ने 2014 में 200 किग्रा से अधिक वजन वाले पत्थरों को चिह्नित किया था और उनके स्थान को दर्ज किया। कुछ सालों के बाद लौटने पर उन्होंने पाया कि पत्थरों ने कम से कम एक किमी की दूरी तय कर ली थी। रिचर्ड डी नॉरिस और उनके भाई जेम्स नॉरिस ने अपने शोध में डेथ वैली के पत्थरों के पीछे के रहस्य को सुलझाने का दावा किया है। उन्होंने कहा कि पत्थर ज्यादातर सर्दियों में खिसकते हैं। सर्दियों में जब झील का पानी ठोस हो जाता है तो सुबह की धूप से बर्फ की पतली परतें पिघल जाती हैं और पानी पर तैरने लगती हैं। तेज हवा बर्फ की पतली परतों को गति देती है और इसके साथ पत्थर भी हिलते हैं।
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