इंदौर। सिकलीगर अब सोशल मीडिया के माध्यम से भी हथियारों की तस्करी कर रहे हैं। वहीं कई ठग भी सक्रिय हैं, जो हथियारों के फोटो पोस्ट कर ऑनलाइन पैसा जमा करवा लेते हैं और बदमाशों को शिकार बना रहे हैं। अवैध कारोबार होने के कारण ठगी के शिकार बदमाश रिपोर्ट भी नहीं कर पा रहे हैं। खरगोन, खंडवा, बुरहानपुर और धार के कई सिकलीगर अब सोशल मीडिया के माध्यम से भी अवैध पिस्टलों की खरीद-फरोख्त कर रहे हैं। वे वॉट्सऐप ग्रुप या फिर टेलीग्राम पर देसी पिस्टल के फोटो डालते हैं। जो लोग उनसे संपर्क करते हैं उनसे ऑनलाइन पैसा जमा करवा लेते हैं और फिर उनको हथियार लेने बुलाते हैं।
कुछ दिन पहले एसटीएफ और इसके पहले क्राइम ब्रांच कई बार सिकलीगरों को गिरफ्तार कर चुकी है। वहीं इनसे हथियार लेकर जाते पंजाब, यूपी, हरियाणा, दिल्ली के कई बदमाश भी पकड़े जा चुके हैं। इन लोगों से सिकलीगरों ने ऑनलाइन पैसा जमा करवा लिया था और डिलीवरी देने के लिए बुलाया था, जहां हथियार देकर वे चंपत हो गए थे। पुलिस ने इनके मोबाइल नंबर और बैंक खातों की जानकारी निकाली तो पता चला कि वे किसी और के नाम के हैं। इसके चलते पुलिस उनको नहीं पकड़ पाई। वहीं दूसरी ओर पुलिस का कहना है कि कई साइबर ठग भी सोशल मीडिया पर सक्रिय हैं।
ये लोग हथियारों के फोटो पोस्ट करते हैं और लोगों से ऑनलाइन पैसा जमा करवा लेते हैं, लेकिन बाद में हथियार नहीं देते। ठगी के शिकार ये सभी बदमाश होते हैं और अवैध कारोबार होने से रिपोर्ट भी नहीं कर पाते हैं। एडीसीपी क्राइम राजेश दंडोतिया का कहना है कि सोशल मीडिया पर हथियारों की खरीद-फरोख्त की जानकारी पुलिस को मिलती रहती है, लेकिन अवैध कारोबार होने से ऐसे मामलों में रिपोर्ट नहीं होती है। लेकिन मुखबिर तंत्र के माध्यम से पता चला है कि कई बदमाश ऑनलाइन हथियार खरीदने के चक्कर में ठगी का शिकार हुए हैं।
©2025 Agnibaan , All Rights Reserved