भोपाल। ईटखेड़ी के ग्राम डोबरा में बीती रात चौराहा का नाम रखने को लेकर पाल समाज और मीणा समाज के लोगों में खूनी संघर्ष हो गया। इस दौरान पाल समाज के लोगों ने फायरिंग कर दी। जिससे एक युवक की मौत हो गई। जबकि आधा दर्जन से अधिक लोग घायल हुए हैं। मामले में पुलिस ने प्रकरण दर्ज कर लिया है। हमला करने वाले आधा दर्जन आरोपियों को हिरासत में ले लिया गया है। अन्य की तलाश की जा रही है। घटना के बाद से डोबरा गांव में दहशत है। सुरक्षा के लिहाज से गांव में भारी पुलिस बल की तैनाती रखी गई है। फरार आरोपियों की तलाश में पुलिस की आधा दर्जन से अधिक टीमें संभावित ठिकानों पर दबिश देने का काम कर रही हैं। वहीं मीणा समाज के लोगों ने घटना के बाद में पुलिस पर लापरवाही के आरोप लगाए हैं। जानकारी के अनुसार 24 वर्षीय शिवम मीणा ग्राम डोबरा में किराना की दुकान चलाता है और वहीं रहता है। उसके रिश्तेदार राहुल मीणा ने बताया कि गांव में किसानी रकने वाले प्रदीप पाल का परिवार रहता है। शिवम और प्रदीप में पूर्व में दोस्ती रही है। गांव में एक चौराहा बना है, जिसका नामकरण को लेकर दोनों में मनमुटाव हो गया था। बात बड़ों तक पहुंची और प्रतिष्ठा का सवाल बन गई। पाल समाज के लोग चौराहा का नाम पाल चौराहा रखना चाहते थे। जबकि मीणा समाज के लोग इसे डोबरा चौराहा नाम देना चाहते थे। इसी बात को लेकर दोनों समाजों के बीच में ठन गई। पहले मंगलवार को दोनों पक्षों के बीच मामूली विवाद हुआ था। जिसकी शिकायत मीणा समाज के लोगों ने थाना ईटखेड़ी में की थी। बुधवार को शिवम दुकान पर था इसी बीच प्रदीप पाल वहां पहुंचा और बहसबाजी शुरु कर दी। लोगों ने समझाइश देकर उसे रवाना कर दिया कुछ देर बाद प्रदीप भाई, संजय पाल और निर्मल पाल व अन्य एक दर्जन से अधिक लोगों को लेकर शिवम की दुकान पहुुंचा और हमला कर दिया। आरोपियों के पास में बारा बोर की बंदूकें थीं। बदमाशों ने आते ही ताबड़तोड़ कई राउंड फायर किए। जिससे एक गोली शिवम को लगी और उसकी मौत हो गई। जबकि सात राउंड फायरिंग के बाद में रमेश मीणा,कोमल मीणा,अजय मीणा,करण मीणा,आनंद मीणा,आकाश मीणा व अन्य छर्रे लगने से घायल हुए हैं। वहीं एसडीओपी केके वर्मा का कहना है कि संतोष मीणा की शिकायत पर संजय पाल, निर्मल, प्रदीप, नरेश, शुभम, सरेश,झनक सिंह,बद्री प्रसाद, स्वपनेश, निर्भयसिंह, मल्लू, सोदाप्रसाद, लखन ,विनोद,सोहनलाल और बंतीबाई के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। जिसमें से आधा दर्जन आरोपियों को हिरासत में ले लिया गया है। जबकि अन्य की तलाश जारी है। दोनों ओर से मारपीट की गई है। इधर राहुल का कहना है कि आज शव रखकर फरार आरोपियों की तत्काल गिरफ्तारी की मांग को लेकर चक्का जाम किया जाएगा।
प्रायवेट पार्ट के पास मारी गोली
राहुल ने बताया कि आरोपी दो 12 बोर बंदूकें सहित डंडे फर्से व धारदार हथियारों से लैस थे। जिससे करीब सात राउंड फायर किए गए हैं। हमले में कसिंह मीणा के प्रायवेट पार्ट से कुछ उपर गोली है। जिससे उसकी हालत अति नाजुक है। जबकि कोमल की बॉय पांव की जांघ व गर्दन के पास छर्रे लगने से उसकी हालत भी गंभीर है।
आरक्षक ने की बहस
राहुल ने बताया कि जब घायल स्पॉट पर तड़प रहे थे, उन्होंने व साथियों ने वापस रोड पर लौटकर डायल 100 से मदद चाही। तब तक वहां से डायल 100 जा चुकी थी। एक आरक्षक के दिखने पर उससे तत्काल मदद पहुंचने में मदद की गुहार लगाई। आरक्षक उल्टा उनसे सवाल जवाब कर बहस करता रहा। मीणा समाज के लोगों का कहना है कि पुलिस की लापरवाही और फरार आरोपियों की तत्काल गिरफ्तारी की मांग को लेकर आज दोपहर बाद डोबरा चौराहा पर चक्का जाम किया जाएगा।
मौत के आधे घंटे बाद तक स्पॉट पर नहीं पहुंची पुलिस
राहुल के मुताबिक शिवम की मौत की सूचना मिलने के तत्काल बाद वह गांव में पहुंचे। हाईवे पर उन्हें डायल 100 व आधा दर्जन पुलिसकर्मी खड़े दिखे। उनके पास में आरोपी पक्ष के कुछ लोग भी खड़े थे। घायलों को अस्पताल पहुंचाने की जल्दी में वे सीधे गांव पहुंचे। जहां स्वयं जद्दोजहद कर उन्होंने व साथियों ने घायलों को अस्पताल पहुंचाया। तब तक शिवम की मौत हो चुकी थी। पुलिस ने घायलों को अस्पताल पहुंचाने में मदद नहीं की। करीब आधे घंटे से अधिक समय बाद पुलिस फार्स मौके पर पहुंची।
पुलिस की सुस्ती से हुआ बवाल!
राहुल का कहना है कि मीणा समाज के लोगों ने मंगलवार को हुए मामूली विवाद के बाद झनक पाल, प्रदीप पाल व साथियों ने अंजाम भुगते की धमकी दी थी। इस मामले में थाना ईटखेड़ी में लिखित शिकायत की गई थी। हालांकि पुलिस ने इस शिकायत को गंभीरता से नहीं लिया और पाल समाज के लोगों को सख्ती से समझाश तक देना बहतर नहीं समझा। इससे बुधवार को हुए बवाल में एक की मौत और आधा दर्जन से अधिक लोगों की जान चली गई।
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