नई दिल्ली. देश में कोरोना वायरस संक्रमण (Coronavirus) के साथ ही ब्लैक फंगस (Black Fungus) या म्यूकरमाइकोसिस बीमारी भी पैर पसार रही है। सीधे मस्तिष्क को प्रभावित करने वाली यह बीमारी अब देश के 26 राज्यों तक में फैल चुकी है। जानकारी के अनुसार पूरे देश में इस समय इसके लगभग 20 हजार मरीज इलाज करा रहे हैं। लेकिन बड़ी समस्या इसके इलाज में इस्तेमाल होने वाले इंजेक्शन की कमी की है। इसकी इतनी कमी है कि कुल मांग के 10 फीसदी के बराबर भी इंजेक्शन उपलब्ध नहीं हैं।
वहीं केंद्रीय रसायन और उर्वरक मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा ने सोमवार को जानकारी दी कि केंद्र सरकार ने राज्यों और केंद्रशासित क्षेत्रों को एम्फोटेरिसिन-बी की अतिरिक्त 30,100 शीशियां या वायल आवंटित की हैं। एम्फोटेरिसिन-बी का इस्तेमाल म्यूकोर्मिकोसिस (Mucormycosis) के इलाज में किया जाता है। इस बीमारी को ब्लैक फंगस के नाम से भी जाना जाता है जो नाक, आंख, साइनस और कई बार मस्तिष्क को बुरी तरह प्रभावित करती है।
गौड़ा ने ट्विटर पर लिखा, ‘सभी राज्यों/केंद्रशासित क्षेत्रों और केंद्रीय संस्थानों को आज एम्फोटेरिसिन-बी की अतिरिक्त 30,100 शीशियां आवंटित की गईं।’ सरकार ने नए आवंटन के तहत महाराष्ट्र (Maharashtra) को सबसे ज्यादा 5,900 और गुजरात को 5,630 शीशियां उपलब्ध कराई हैं।
बेंगलुरु (Bengaluru) के मणिपाल अस्पताल के डॉ. रघुरात हेगड़े ने सोशल मीडिया पर जानकारी दी है कि ब्लैक फंगस से पीडि़त मरीजों की जान बचाने के लिए ऑपरेशन करना पड़ रहा है, लेकिन फिर भी उनकी जान नहीं बच पा रही है। वे अब तक कई मरीजों की आंख निकाल चुके हैं। कुछ मरीज शुरुआती लक्षण दिखने के बाद अस्पताल में भर्ती होते हैं । लेकिन समय पर दवा और इंजेक्शन (injection) नहीं मिलने पर उनकी जान चली जाती है।
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