लखनऊ: उत्तर प्रदेश में सरकार बनने के साथ ही बीजेपी (UP BJP) को अब 2024 की जंग दिखायी दे रही है. लिहाजा प्रदेश में गठित नई सरकार ने अब 2024 के चुनाव (Lok Sabha Elections 2024) के मद्देनजर दलित एजेंडे को अपनी प्राथमिकता में शामिल कर लिया है. इस बार आंबेडकर जयंती के मौके पर 14 अप्रैल को प्रदेश के कई जिलों में बड़े पैमाने पर कार्यक्रम किए जाने की योजना तैयार करवायी जा रही है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश देने के बाद लखनऊ, बरेली, आगरा, वाराणसी और गोरखपुर समेत कई शहरों में कार्यक्रम वृहद कार्यक्रम करवाये जाने की योजना बनायी जा रही है. संस्कृति विभाग की ओर से बाबा साहब की जयंती के मौके पर कई बड़े कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. इसकी तैयारियां संस्कृति विभाग की ओर से शुरू कर दी गई है. इन कार्यक्रमों की शुरुआत 13 अप्रैल को लखनऊ के बाबा साहब भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय के सभागार में आयोजित कार्यक्रम से होगी.
वैसे भी यूपी चुनाव के नतीजों ने बीजेपी को दलित वोटरों को लेकर आश्वस्त कर दिया है. शायद यही वजह है कि बीजेपी दलित वोटरों की लामबंदी को लेकर बेहद संजीदा नजर आ रही है, जिसका असर योगी मंत्रिमंडल पर साफतौर पर देखने को मिला.
योगी सरकार में बीजेपी के दलित नुमाइंदों की बात करें तो इस बार सदन में कुल 67 विधायक दलित विधायक चुनाव जीतकर आए हैं, जबकि कुल 8 दलित चेहरों को मंत्रीमंडल में शामिल भी किया गया है. इसमें बेबी रानी मौर्य कैबिनेट मंत्री, असीम अरुण राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार, गुलाब देवी राज्यमंत्री स्वंतंत्र प्रभार, अनूप वाल्मिकी राज्य मंत्री, दिनेश खटिक राज्य मंत्री,सुरेश राही , विजय लक्ष्मी राज्यमंत्री, मन्नू कोरी राज्य मंत्री शामिल हैं.
लेकिन अब सरकार के गठन के बाद आंबेडकर जयंती के जरिये दलित वोटरों में बड़ा संदेश देना चाहती है, जिसके तहत बाबा साहब को लेकर सीएम योगी की तरफ से संस्कृति विभाग को विभिन्न कार्यक्रमों की वृहद योजना बनाने के निर्देश दिये गये है.
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