कोलकाता. क्या दिलीप घोष (Dilip Ghosh) शादी (marry) करने जा रहे हैं? सूत्रों के मुताबिक बंगाल बीजेपी (BJP) के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष शुक्रवार को शादी के बंधन में बंध सकते हैं. लेकिन दुल्हन कौन है? रिपोर्ट्स के मुताबिक, दुल्हन का नाम रिंकू मजूमदार (Rinku Majumdar) है. अब आप जानना चाहते होंगे कि दिलीप की इस दुल्हन से मुलाकात कैसे हुई? तो आपको बता दें कि रिंकू मजूमदार भाजपा की लंबे समय से कार्यकर्ता हैं, उन्होंने महिला मोर्चे की जिम्मेदारी भी बखूबी संभाली है. उन्होंने पार्टी में ओबीसी मोर्चा और हथकरघा प्रकोष्ठ के साथ-साथ विभिन्न महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां संभाली हैं.
रिंकू ने दिलीप के सामने रखा शादी का प्रपोजल
दिलीप के करीबी लोगों के अनुसार, जब वह लोकसभा चुनाव हारने के बाद थोड़ा उदास थे, तो रिंकू ही पहली व्यक्ति थीं जिन्होंने प्रस्ताव दिया था कि वे दोनों साथ मिलकर परिवार शुरू करें. उन्होंने बताया था कि अब वह भी जीवन में अकेली हैं और दिलीप के साथ रहना चाहती हैं. दिलीप ने पहले तो शादी करने से मना कर दिया, लेकिन बाद में अपनी मां के आग्रह पर दोबारा विचार करने के लिए राजी हो गए. धीरे-धीरे उन्हें लगा कि जीवन का यह चक्र भी पूरा होना चाहिए.
यह शादी अत्यंत निजी रहेगी, जिसमें केवल परिवार के सदस्य और करीबी लोग ही शामिल होंगे. रिंकू तलाकशुदा हैं और उनका एक बेटा है जो आईटी सेक्टर में काम करता है. लोकसभा से लेकर विभिन्न चुनावों में हम दिलीप घोष को दबंग मूड में देख चुके हैं. इस अवसर पर तृणमूल कांग्रेस के नेताओं ने भी दिलीप घोष को बधाई दी है. कुणाल घोष और देबांगशु जैसे टीएमसी नेताओं ने उन्हें जीवन की नई पारी शुरू करने पर शुभकामनाएं दी. दिलीप घोष से मीडिया ने इस बारे में सवाल किया तो उन्होंने अपने अनोखे अंदाज में कहा, ‘क्यों, क्या मैं शादी नहीं कर सकता? क्या शादी करना अपराध है?’
दिलीप घोष की मां चाहती थीं बेटे की हो शादी
दिलीप के करीबी सूत्रों के अनुसार, उनकी मां चाहती थीं कि वह शादी कर लें और परिवार शुरू करें. फिर वह अपनी बहू के साथ कुछ समय बिता सकेंगी. दिलीप की मां उनके साथ ही रहती हैं. आगामी विधानसभा चुनाव में भी इस बीजेपी नेता की महत्वपूर्ण भूमिका रहेगी. पार्टी उन्हें चुनाव मैदान में उतार सकती है. प्रचार अभियान के लिए उनकी जरूरत होगी. परिणामस्वरूप, उन्हें पूरे राज्य का भ्रमण करना पड़ेगा. ऐसी स्थिति में, उनकी बुजुर्ग मां की देखभाल करने और उनके साथ रहने के लिए किसी का होना जरूरी है. इसके अलावा दिलीप की मां को इस बात की भी चिंता है कि उनकी अनुपस्थिति में उनके बेटे की देखभाल कौन करेगा. दिलीप पिछले साल 60 वर्ष के हो गए.
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