अहमदाबाद (Ahmedabad)। बिलकिस बानो (Bilkis Bano) अभी भी इंसाफ की लड़ाई लड़ रही हैं लेकिन उनके साथ रेप करने वाले मौज में हैं. 2002 में गुजरात दंगे (gujarat riots) के दौरान 11 लोगों ने बिलकिस के साथ रेप किया था और उसके परिवार के कुछ लोगों की हत्या कर दी थी। पिछले साल इन दोषियों को रिहा कर दिया गया था, हालांकि, राज्य सरकार के इस फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई, जिसपर आज सुनवाई होनी है।
सुप्रीम कोर्ट 2002 के गुजरात दंगों के दौरान बिलकिस बानो गैंगरेप मामले में 11 दोषियों की सजा में छूट को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर आज सुनवाई करेगा। गुजरात सरकार ने इन सभी 11 दोषियों को सजा में छूट देते हुए पिछले साल 15 अगस्त को समय से पहले रिहा कर दिया था।
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— Jasvantsinh Bhabhor (@jsbhabhor) March 25, 2023
बिलकिस बानो केस में शामिल 11 लोगों में से एक शख्स को शनिवार को गुजरात में एक सरकारी कार्यक्रम में भाजपा के सांसद और एक विधायक के साथ मंच साझा करते देखा गया।
विदित हो कि पिछले महीने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डी.वाई. चंद्रचूड़ और जस्टिस पी.एस. नरसिम्हा और जे.बी. पारदीवाला की बेंच ने बिलकिस बानो को आश्वासन दिया था कि 11 लोगों की रिहाई के खिलाफ याचिकाओं पर सुनवाई के लिए जल्द से जल्द एक नई बेंच का गठन किया जाएगा। बिलकिस बानो मामले में बलात्कारियों की रिहाई के खिलाफ कई याचिकाएं दायर की गई हैं। याचिकाकर्ताओं में तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा, सीपीएम पोलित ब्यूरो सदस्य सुभाषिनी अली और अन्य शामिल हैं।
गौरतलब है कि 2002 में गोधरा में साबरमती एक्सप्रेस ट्रेन के एक डिब्बे में आग की घटना में 59 कारसेवकों की मौत हो गई थी, जिसके बाद शहर में भड़के दंगों के दौरान उसके बिलकिस बानो के साथ गैंगरेप किया गया था और उसके परिवार के सात सदस्यों की हत्या कर दी गई थी, जिनमें तीन साल की एक बेटी भी शामिल थी। घटना के वक्त बिलकिस बानो 21 साल की थी और पांच महीने की गर्भवती भी थी।
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