नई दिल्ली। कांग्रेस (Congress) को रविवार को बड़ा झटका लगा। उसके युवा नेताओं में से एक मिलिंद देवड़ा (milind deora) ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया। पूर्व केंद्रीय मंत्री मुरली देवड़ा (Former Union Minister Murli Deora) के बेटे मिलिंद के इस्तीफा देने के साथ ही उनके परिवार का कांग्रेस से 55 साल का रिश्ता भी टूट गया। मिलिंद अब शिंदे गुट की शिवसेना (Shinde faction’s Shiv Sena) में शामिल हो गए हैं।
मिलिंद देवड़ा ने कांग्रेस से इस्तीफा देने के बाद कहा कि वे विकास के पथ पर चल रहे हैं। उन्होंने एक्स पर किए गए एक पोस्ट में कहा कि आज मेरी राजनीतिक यात्रा में एक महत्वपूर्ण अध्याय का समापन हुआ। मैंने कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। इसके साथ ही पार्टी के साथ मेरे परिवार का 55 साल पुराना रिश्ता भी खत्म हो गया है।
मिलिंद देवड़ा के इस्तीफा देने से हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में छत्तीसगढ़, राजस्थान और मध्य प्रदेश में हार का सामने करने वाली कांग्रेस को भारत जोड़ो न्याय यात्रा के ठीक पहले तगड़ा झटका लगा है। मिलिंद देवड़ा से पहले भी कई नेताओं का कांग्रेस से मोह भंग हुआ है।
महाराज के नाम से मशहूर ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) ने 2018 के विधानसभा चुनाव के बाद मध्य प्रदेश में कांग्रेस को तगड़ा झटका दिया। उन्होंने 2020 में 20 विधायकों के साथ पार्टी से इस्तीफा दे दिया, जिससे कमलनाथ को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा। वे करीब 18 साल से कांग्रेस से जुड़े हुए थे। सिंधिया ने बाद में बीजेपी का दामन थाम लिया। वे अब केंद्रीय मंत्री और राज्यसभा सदस्य हैं। उन्हें 2021 में मोदी मंत्रिमंडल में शामिल किया गया।
जितिन प्रसाद कांग्रेस के लोकप्रिय नेता थे। वे केंद्रीय मंत्री भी रहे। इस समय वे यूपी सरकार में कैबिनेट मंत्री हैं। जितिन प्रसाद पहली बार 2004 में लोकसभा सदस्य चुने गए थे। वे 2021 में भाजपा में शामिल हुए।
हार्दिक पटेल 2015 के पाटीदार आरक्षण आंदोलन को लेकर चर्चा में आए। उन्होंने मई 2022 में कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया। वे 2019 के लोकसभा चुनाव के पहले कांग्रेस में शामिल हुए थे। हालांकि, गुजरात विधानसभा चुनाव से पहले उन्होंने भाजपा का दामन थाम लिया।
सुष्मिता देव को गांधी परिवार की करीबी माना जाता था। वे कांग्रेस की महिला शाखा की अध्यक्ष भी रहीं। उन्होंने 2019 में पार्टी से इस्तीफा दे दिया। मौजूदा समय में सुष्मिता राज्यसभा सदस्य हैं। उन्हें अगस्त 2021 में तृणमूल कांग्रेस ने राज्यसभा भेजा।
कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता गुलामनबी आजादी के पार्टी छोड़ने के बाद जयवीर शेरगिल ने भी अगस्त 2022 में इस्तीफा दे दिया था। वे उसी साल दिसंबर में बीजेपी में शामिल हो गए। मौजूदा समय में वे भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता हैं।
अनिल एंटनी पूर्व केंद्रीय मंत्री ए के एंटनी के बेटे हैं। उन्होंने पिछले साल कांग्रेस का हाथ छोड़कर भाजपा का दामन थामा था। हालांकि, ए के एंटनी का कहना था कि वे अपने बेटे के फैसले से बहुत निराश हैं।
अल्पेश ठाकोर भी कांग्रेस के युवा नेताओं में से एक थे। हालांकि, राज्यसभा चुनाव में पार्टी उम्मीदवार के खिलाफ मतदान करने के बाद 2019 में उन्होंने पार्टी छोड़ दी थी। इस समय वे गुजरात की गांधीनगर दक्षिण सीट से विधायक हैं।
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