इंदौर। संभागायुक्त डॉ. पवन कुमार शर्मा ने बुधवार को खरगौन जिले में स्थित बाजीराव पेशवा के समाधि स्थल का निरीक्षण कर श्रीमंत बाजीराव पेशवा स्मृति प्रतिष्ठान के सदस्यों के साथ चर्चा की।
ज्ञात हो कि बाजीराव पेशवा की समाधि स्थल को पर्यटन स्थल बनाने की दिशा में मप्र टूरिज्म विभाग ने पहल करते हुए खांका तैयार किया है। उसी अनुरूप आगे की रूपरेखा तैयार की जाएगी। इसी के मद्देनजर संभागायुक्त डा. शर्मा ने चर्चा के बाद प्रस्तावित स्थलों का निरीक्षण कर विकास और सौंदर्यीकरण कार्यों की संभावनाएं देखी।
संभागायुक्त ने सिलसिलेवार पहले कलेक्टर अनुग्रहा पी. से अब तक किये गए प्रयास और मंडलेश्वर में प्रस्तावित डेम तथा सरदार सरोवर परियोजना से समाधि स्थल के प्रभावित स्थितियों के बारे में जानकारी ली। वही ओंकारेश्वर परियोजना और बाढ़ के समय समाधि स्थल तक पानी पहुँचने तथा बचाव के उपायों के बारे में कलेक्टर श्रीमती अनुग्रहा ने विस्तार से बताया। इसके पश्चात एसडीएम अनुकूल जैन ने समाधि स्थल की भूमि और विकास कार्यों के लिए भूमि के अधिग्रहण और वर्तमान स्थितियों के बारे में बताया। इस दौरान जिला पंचायत सीईओ गौरव बेनल उपस्थित थे।
पांच प्रमुख कार्य है प्रस्तावित
संभागायुक्त डॉ. शर्मा ने श्रीमंत बाजीराव पेशवा स्मृति प्रतिष्ठान के सदस्यों से उनकी रूपरेखा के बारे में विस्तार से जाना। समिति के सदस्य श्री विवेक भटोरे ने बताया कि यहां इंटरवेंशन सेंटर, नोका विहार, सैनिक स्कूल, म्यूजियम और 28 फीट की स्टेच्यू बनाना प्रस्तावित है। सैनिक स्कूल में बाजीराव पेशवा की युद्धनीति के अध्ययन पर जोर दिया जाएगा। बाजीराव पेशवा की युद्धनीति को अमेरिका में पढ़ाया जाता है। नौका विहार से बकावां, गंगातखेड़ी, धारेश्वर और ओंकारेश्वर को जोड़ने की कल्पना को पूरा किया जाएगा। वही म्यूजियम में बाजीराव पेशवा के जन्म और उनके द्वारा लड़े गए युद्ध के बारे में तथा उनके द्वारा नियुक्त सूबेदारों की प्रतिमाएं भी रखी जायेगी।
संभागायुक्त ने कहा कि यहां पहुँच मार्ग एक बड़ी समस्या है, इसका समाधान सबसे आवश्यक है। इसके लिए टीडीआर स्कीम के तहत कार्य किया जा सकता है, जो आजकल शहरी क्षेत्रों में कामयाब हो रही है। उसी तर्ज पर यहां भी सम्भावनाएं देखी जा सकती है।
इसी को लेकर एसडीएम अनुकुल जैन ने बताया कि यहाँ आने के लिए गांव से होकर आना पड़ता है। गांव के किसानों के खलिहान की भूमि है जो कुछ लोग देना चाहते और कुछ मना कर रहे है। समिति के भटोरे ने कहा कि पूर्व में 28 अप्रैल से 29 अप्रैल तक तीन दिवसीय मेला आयोजित करने की रूपरेखा बन चुकी है मगर अभी तक संचालन नही हो पाया है।
चर्चा के बाद संभागायुक्त ने कहा कि विकास और सौन्दर्यीकरण कार्य के लिए पहले ट्रस्ट बनाये जिसमें गांव के लोग और एसडीएम को शामिल करें। अभी तो प्रारम्भिक रूप से जानकारी एकत्रित की गई है। भूमि के अधिग्रहण और कितनी भूमि कहां कहां से ली जा सकती है। इसके लिए विस्तृत रूपरेखा बनाई जाएगी। पहले दौर के बाद अभी कई तरह से बैठकें हो सकती है।
टूरिज्म विभाग की ये है परिकल्पना
मप्र टूरिज्म विभाग ने बाजीराव पेशवा समाधि स्थल के विकास और सौन्दर्यीकरण के लिए प्रस्ताव तैयार किया है। जिस पर आगे कार्य किया जा सकता है। इसमें इंट्रेंस गेट, टूरिज्म फेसिलिटेशन सेंटर पार्किंग एंड लेंड स्केपिंग, द्वारफवाल, स्टोन बेंचेस पाथवे आदि हैं। इसमें 29 करोड़ 90 लाख 83 हजार रुपये की लागत कई और कार्य प्रस्तावित किये गये हैं। (एजेंसी, हि.स.)
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