ढाका. बांग्लादेश (Bangladesh) में हिंदुओं (Hindus) पर हो रहे अत्याचार को लेकर भारत (India) में भारी गुस्सा है। इस्कॉन (ISKCON) से जुड़े चिन्मय कृष्णदास (Chinmoy Krishnadas) की गिरफ्तारी के बाद तो यह खुलकर सामने आया है कि शेख हसीना की सरकार (Sheikh Hasina’s government) जाने के बाद से लगातार वहां हिंदुओं को निशाना बनाया जा रहा है। इस बीच, बांग्लादेश के मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस के प्रेस सचिव शफीकुल इस्लाम ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि बांग्लादेश में हिंदू “सुरक्षित” हैं और देश में अल्पसंख्यकों के लिए कोई खतरा नहीं है।
चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी को लेकर बांग्लादेश में चल रहे विवाद के बीच उनका ये बयान सामने आया है। शफीकुल इस्लाम ने एक इंटरव्यू में इस्कॉन पर प्रतिबंध लगाने के मुद्दे पर भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि बांग्लादेशी सरकार का इंटरनेशनल सोसाइटी फॉर कृष्णा कॉन्शसनेस (इस्कॉन) पर प्रतिबंध लगाने का कोई इरादा नहीं है। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि मुझे मामले की सुनवाई के बारे में नहीं पता, लेकिन बांग्लादेश में इस्कॉन पर प्रतिबंध नहीं लगाया जाएगा।
चिन्मय दास की गिरफ्तारी के बाद भड़की हिंसा पर भी बोले मुहम्मद यूनुस के प्रेस सचिव
बांग्लादेश में अल्पसंख्यक समुदायों के बीच भड़की हालिया हिंसा को लेकर इस्लाम ने कहा कि बांग्लादेश के खिलाफ दुष्प्रचार अभियान चलाया जा रहा है। यहां हिंदू सुरक्षित हैं। मीडिया संस्थानों से अपील करते हुए शफीकुल इस्लाम ने कहा कि मैं आपसे अनुरोध करता हूं कि आप आएं और यहां हकीकत कवर करें। बांग्लादेश में शुरुआती कुछ दिनों में हिंसा देखी गई और स्थिति अब नियंत्रण में है। उन्होंने चिन्मय दास के मामले में भी निष्पक्ष सुनवाई की बात कही।
इस्कॉन से जुड़े 17 लोगों के बैंक खातों पर लगी रोक
इससे पहले, बांग्लादेश के वित्तीय अधिकारियों ने एक आदेश के बाद इस्कॉन से जुड़े सत्रह लोगों के बैंक खातों पर एक महीने तक की रोक लगाई। इन लोगों से तीन कामकाजी दिनों के भीतर अपने लेन-देन की जानकारी संबंधित बैंकों को सौंपने को कहा गया है।
भारत लगातार जता रहा विरोध
भारत बांग्लादेश सरकार के सामने लगातार मजबूती से यह मुद्दा उठा रहा है कि वहां के हिंदू और अन्य अल्पसंख्यकों को धमकियों और लक्षित हमलों का सामना करना पड़ रहा है। शुक्रवार को विदेश मंत्रालय ने कहा कि बांग्लादेश की अंतरिम सरकार को अपने सभी अल्पसंख्यकों की सुरक्षा की जिम्मेदारी निभानी चाहिए। मंत्रालय ने कहा, हम बांग्लादेश में कट्टरपंथी भाषा के बढ़ते इस्तेमाल, हिंसा की बढ़ती घटनाओं और उकसावे के मामलों पर चिंता व्यक्त करते हैं। इन घटनाओं को सिर्फ यह नहीं माना जा सकता कि मीडिया बढ़ा-चढ़ाकर बता रहा है। मंत्रालय ने बांग्लादेश सरकार से फिर अपील की कि वह अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी जरूरी कदम उठाए।
चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी पर मंत्रालय ने क्या कहा
बांग्लादेश में प्रमुख हिंदू चेहरे चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी पर मंत्रालय ने कहा, जहां तक व्यक्तियों के खिलाफ मामलों का सवाल है, हम जानते हैं कि कानूनी प्रक्रियाएं जारी हैं। हम उम्मीद करते हैं कि यह प्रक्रियाएं मामले को न्यायसंगत, निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके निपटाएंगी और सभी आरोपियों के कानूनी अधिकारों का पूरा सम्मान सुनिश्चित करेंगी। बांग्लादेश सम्मिलित सनातनी जागरण जोत संगठन के प्रवक्ता चिन्मय कृष्ण दास को सोमवार को ढाका के हजरत शाहजलाल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से गिरफ्तार किया गया था और उन पर देशद्रोह का आरोप लगाया गया। मंगलवार को चटगांव की एक अदालत ने उन्हें जमानत देने से इनकार किया और जेल भेज दिया। दास समर्थकों और सुरक्षाकर्मियों के बीच झड़प में एक वकील की मौत हुई। चिन्मय बांग्लादेश में पहले अंतरराष्ट्रीय कृष्ण चेतना सोसायटी (इस्कॉन) के प्रवक्ता रह चुके हैं।
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